Ujjain News: उज्जैन कलेक्टर आशीष सिंह ने आज नगरीय निकायों में 15 से 18 वर्षीय बालक-बालिकाओं के टीकाकरण कार्य की समीक्षा की. समीक्षा बैठक में उन्होंने टीकाकरण की धीमी गति पर असंतोष जताते हुए आदेश दिया कि सभी आशा कार्यकर्ता फील्ड में नजर आएं, वरना कार्रवाई की जाएगी. कलेक्टर ने बताया कि 31 दिसम्बर 2007 से पहले जन्मे बालक-बालिकाएं टीकाकरण के लिये पात्र हैं. बैठक में सीएचएमओ डॉ. संजय शर्मा, जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. केसी परमार, महिला एवं बाल विकास के जिला कार्यक्रम अधिकारी गौतम अधिकारी एवं अन्य मौजूद थे.
टीकाकरण में रुचि नहीं लेनेवाले निजी स्कूलों पर कलेक्टर सख्त
कलेक्टर आशीष सिंह ने कहा कि उज्जैन जिले में किये गये सर्वे के अनुसार नगरीय क्षेत्र में 3229 और ग्रामीण क्षेत्र में 5386 बालक-बालिकाओं को अभी टीका लगना शेष है. इनमें बड़नगर जनपद में 775, घट्टिया में 232, खाचरौद में 833, नागदा में 1087, महिदपुर में 1361, तराना में 414, उज्जैन ग्रामीण में 684 और उज्जैन नगरीय क्षेत्र में 3229 बालक-बालिकाएं शामिल हैं.
कलेक्टर ने स्कूलों से ड्रापआउट बच्चों के टीकाकरण की अलग से प्लानिंग करने को कहा. उन्होंने कहा कि सभी जनपदों और नगरीय क्षेत्रों में अलग से नामजद सूची बनाई जाये और आंगनवाड़ी केन्द्रों में एक जगह पर एकत्रित कर मोबाइल वैक्सीनेशन टीम टीकाकरण करे.
कलेक्टर ने इसके लिये आवश्यक वाहन लगाने के निर्देश दिये. उन्होंने बताया कि अधिकांश स्कूलों में 15 से 18 आयु वर्ग के बालक-बालिकाओं को अभी टीके लगना शेष है. निजी स्कूल टीकाकरण कार्य में रूचि नहीं ले रहे हैं. कलेक्टर ने सभी एसडीएम को कहा कि अपने-अपने क्षेत्र में हर निजी स्कूल के प्राचार्य से प्रमाण पत्र लें कि उनके स्कूल के सभी पात्र बालक-बालिकाओं को टीका लग चुका है.
असहयोग करने वाले निजी स्कूलों के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिये गये. प्रीकॉशन डोज नहीं लगवानेवाले स्वास्थ्य विभाग, प्रशासनिक विभाग एवं अन्य विभागों के फ्रंटलाइन वर्कर्स का जनवरी माह का वेतन रोका जाएगा.
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