Ashok Chavan Joined BJP: महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण (Ashok Chavan) कांग्रेस छोड़ने के एक दिन बाद ही मंगलवार (13 फरवरी) को बीजेपी में शामिल हो गए. चव्हाण को महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेन्द्र फडणवीस, बीजेपी की प्रदेश इकाई के अध्यक्ष चन्द्रशेखर बावनकुले की उपस्थिति में पार्टी में शामिल किया गया. इस दौरान पार्टी की मुंबई इकाई के प्रमुख आशीष शेलार और कैबिनेट मंत्री गिरीश महाजन समेत कई नेता भी मौजूद रहे. बीजेपी में शामिल होने के बाद उन्होंने इसे अपने राजनीतिक जीवन की नई शुरुआत बताया.
सोनिया गांधी और राहुल गांधी ने कोई फोन किया?
कांग्रेस में लगभग चार दशक बिताने वाले चव्हाण ने अपने राजनीतिक जीवन के नए चरण के बारे में कहा कि आज का दिन उनकी नयी राजनीतिक यात्रा की शुरुआत का प्रतीक है. महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री और केंद्रीय गृह मंत्री एस बी चव्हाण के बेटे अशोक चव्हाण ऐसे समय में बीजेपी में शामिल हुए हैं, जब ये अटकलें लगाई जा रही हैं कि उन्हें राज्यसभा का नामांकन दिया जा सकता है. जब चव्हाण से यह पूछा गया कि क्या उन्हें वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं सोनिया गांधी और राहुल गांधी ने कोई फोन किया, तो उन्होंने इसका कोई जवाब नहीं दिया.
Ashok Chavan Statement: BJP के मंच पर जब अशोक चव्हाण की फिसली जुबान, जमकर लगे ठहाके, देखें वीडियो
'सियासी जीवन की नई शुरुआत'
चव्हाण ने कहा, 'मैं कहूंगा कि यह मेरे जीवन की एक नई शुरुआत है. मेरे राजनीतिक जीवन के पिछले 38 वर्षों में, मैं एक नयी यात्रा शुरू कर रहा हूं. मैं कुछ अच्छे काम करना चाहता हूं और प्रगतिशील विचारों के साथ आगे बढ़ना चाहता हूं. राजनीति समाज की सेवा करने का एक तरीका है. कुछ लोगों ने मेरे फैसले की आलोचना की है, लेकिन मैं किसी के खिलाफ कोई व्यक्तिगत टिप्पणी नहीं करूंगा. उन्होंने कहा, ''मैंने अब तक विकासात्मक और सकारात्मक दृष्टिकोण के साथ काम किया है. जब फडणवीस विपक्ष में थे और मैं महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री था, हमने एक-दूसरे का समर्थन किया था. मैं जहां भी रहा हूं, मैंने पार्टी के लिए ईमानदारी से काम किया है.
'बीजेपी की सीट बढ़ाने के लिए करुंगा काम'
चव्हाण ने आगे कहा कि मैं यह देखूंगा कि मैं महाराष्ट्र में भाजपा की सीट कैसे बढ़ा सकता हूं. मैं अपनी क्षमता के अनुसार इसमें योगदान जरूर दूंगा. वह प्रधानमंत्री मोदी के काम और ‘सबका साथ, सबका विकास’ के नारे से प्रभावित हैं. पार्टी के निर्देशों का पालन करने और राष्ट्रीय विकास पथ में सकारात्मक योगदान देने के अपने इरादे की पुष्टि की. जब उनसे यह पूछा गया कि क्या कांग्रेस से और नेता भाजपा में शामिल हो सकते हैं, तो उन्होंने कहा, ''मैंने अन्य कांग्रेस नेताओं को कोई फोन नहीं किया है. फडणवीस जैसे बीजेपी नेता यह फैसला करेंगे. मैं आज केवल पार्टी में शामिल हुआ हूं. कांग्रेस से इस्तीफे के सवाल पर उन्होंने कहा कि मैं लंबे समय से इसके बारे में सोच रहा था. मैं राष्ट्र निर्माण का हिस्सा बनना चाहता था. यह कोई आसान निर्णय नहीं था. मुझे इसके बारे में बहुत सोचना पड़ा
आदर्श घोटाले को लेकर क्या कहा?
आदर्श घोटाले को लेकर शिवसेना (यूबीटी) नेता संजय राउत की ओर से उन पर निशाना साधे जाने पर अशोक चव्हाण ने अपना बचाव करते हुए कहा, 'बॉम्बे हाईकोर्ट ने मेरे पक्ष में फैसला दिया है. मैं कह सकता हूं कि यह एक राजनीतिक दुर्घटना थी. कुछ एजेंसियों ने अदालत के फैसले को चुनौती दी है. मैंने इसका बहुत सामना कर लिया है और मुझे नहीं लगता कि अब यह कोई चिंता का विषय है.''
उद्धव ठाकरे ने साधा था निशाना
इससे पहले पूर्व मुख्यमंत्री और शिवसेना (यूबीटी) अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने भी आदर्श हाउसिंग घोटाला मामला उठाते हुए सोमवार को अशोक चव्हाण पर निशाना साधते हुए कहा था कि अगर बीजेपी उन्हें राज्यसभा भेजती है, तो यह शहीद सैनिकों का अपमान होगा. ठाकरे ने मंगलवार को एक बार फिर चव्हाण पर कटाक्ष किया और कहा कि उन्हें भाजपा में जाने की बजाय मराठवाड़ा जाकर किसानों से मिलना चाहिए था, जो बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से प्रभावित हुए हैं. ठाकरे ने अहमदनगर जिले के सोनाई में एक सार्वजनिक रैली को संबोधित करते हुए चव्हाण पर निशाना साधा और कहा कि आदर्श घोटाले को भुला दिया गया था लेकिन चव्हाण के कदम ने इसे फिर से सुर्खियों में ला दिया है.
गौरतलब है कि आदर्श घोटाले के कारण चव्हाण को 2010 में मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था. चव्हाण आदर्श हाउसिंग सोसाइटी घोटाले में आरोपी हैं. दक्षिण मुंबई में 31 मंजिला इस इमारत का निर्माण कथित तौर पर रक्षा मंत्रालय के स्वामित्व वाली भूमि पर उपयुक्त मंजूरी लिए बिना किया गया था. चव्हाण ने उन दावों का भी खंडन किया था कि संसद में पेश किए गए श्वेत पत्र के कारण उन्होंने कांग्रेस से इस्तीफा दिया. श्वेत पत्र में मुंबई में आदर्श सोसाइटी घोटाले का उल्लेख किया गया है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस छोड़ने का उनका फैसला निजी है और यह किसी पुराने विवाद से प्रभावित नहीं है.