Ahilyabai Holkar Savitribai Phule Idols: विनायक दामोदर सावरकर की जयंती दिल्ली के महाराष्ट्र सदन में मनाई गई. इस मौके पर महाराष्ट्र सदन को सजाया गया था. महाराष्ट्र राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष रूपाली चाकणकर ने बताया कि अहिल्याबाई होल्कर और सावित्रीबाई फुले की मूर्तियों को अस्थायी रूप से हटा दिया गया है. साथ ही मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से मामले की जांच की मांग की गई.


रूपाली चाकणकर का बड़ा दावा
उन्होंने कहा, "दिल्ली के महाराष्ट्र सदन में विनायक दामोदर सावरकर की जयंती के अवसर पर एक कार्यक्रम आयोजित किया गया था. इस मौके पर वहां से सावित्रीबाई फुले और अहिल्या देवी होल्कर की प्रतिमा को हटाया गया और इस कार्यक्रम में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री भी शामिल हुए. अहिल्या देवी होल्कर की जयंती सिर्फ तीन दिन दूर है, यह इन दो महान महिलाओं का अपमान है जो देश में महिला सम्मान आंदोलन में सबसे आगे हैं, उनके अस्तित्व और उनके गौरवशाली इतिहास को नकारने की मानसिकता को उजागर करती हैं. इसके बाद कई विरोधियों ने इस पर प्रतिक्रिया दी थी.


एकनाथ शिंदे का जवाब आया सामने
इसको लेकर पत्रकारों ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे से सवाल किया. इसका जवाब देते हुए शिंदे ने कहा, 'सावित्रीबाई फुले, अहिल्याबाई होल्कर हमारे लिए पूजनीय और सम्मानित हैं. हर देशवासी उनके प्रति सम्मान रखता है. उनका अपमान नहीं होगा. मैंने इस मामले में संबंधित अधिकारियों से बात की है और वे इस मामले का खुलासा करने वाले हैं. अंत में, अहिल्याबाई होल्कर और सावित्रीबाई फुले का हम बहुत सम्मान करते हैं.” एकनाथ शिंदे देर रात दिल्ली से मुंबई पहुंचे थे जब उन्होंने ये जवाब दिया.


इसको लेकर मंत्री उदय सामंत से सवाल भी किया गया. उन्होंने कहा, 'इस मामले की जांच होनी चाहिए. यह मामला संवेदनशील है. हमें छत्रपति शाहू महाराज, महात्मा फुले, सावित्रीबाई फुले, सावरकर, डॉ. बाबासाहेब अम्बेडकर सभी पर गर्व है. इसलिए इस मामले में जानकारी के साथ बात करना उचित होगा."


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