Pune News: महाराष्ट्र के पुणे से एक ऐसा मामला सामने आया है जिसमें महिला की मासिक कमाई 17 हजार होने के बावजूद भी उसे भीख मांगने पर मजबूर किया जा रहा है. दरअसल, 65 वर्षीय एक महिला साहुकार के चंगुल में फंस गई जिसके चलते उसकी सारी कमाई केवल कर्जा चुकाने में ही जाती रही और वह अपने जीवन यापन के लिए भीख मांगने पर मजबूर हो गई. लेकिन एक लोकल एक्टिविस्ट की मदद से महिला को साहुकार के चंगुल से छुड़ा लिया गया. 


लोकल एक्टिविस्ट ने बताया, "महिला ने साहूकार से 40,000 रुपये लिए थे जिसका साहूकार ने 2,00,000 ब्याज बनाया था. इसलिए उसने महिला का पासबुक ले लिया और उसी से वह पैसा निकलता था. साहूकार 5-6 साल से उनका पैसा निकल रहा था. ''






एक्टिविस्ट के मुताबिक, महिला को महीने में 17,000-18,000 पेंशन मिलता है. पुणे नगर निगम में काम करने वाले सभी लोग साहूकार के चंगुल में आ गए थे. मैंने खड़क पुलिस स्टेशन में रिपोर्ट दर्ज़ करवाई. पुलिस ने FIR दर्ज़ करके आरोपी को पकड़ लिया है. पुलिस के अनुसार साहुकार ने महिला के खाते से अब तक 8 लाख रुपए से भी अधिक राशि निकाली है. 


पोते के इलाज के लिए लिया था कर्ज


जानकारी के मुताबिक महिला ने करीब पांच साल पहले अपने पोते के इलाज के लिए दिलीप विजय से 40 हजार रुपए का कर्ज लिया था. हालांकि महिला ने बैंक से पैसे कर्ज लेकर साहुकार के पैसे लौटा दिए थे. लेकिन आरोपी ने महिला का फायदा उठाते हुए उसकी पासबुक व दो एटीएम कार्ड अपने पास रख लिए. आरोपी महिला की पेंशन में से केवल कुछ पैसे ही महिला को देता था बाकि सारे पैसे स्वयं रख लेता था. इसी के चलते महिला को अपना दैनिक खर्च चलाने में समस्या आने लगी.


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