बीजेपी नेता और पूर्व सांसद किरीट सोमैया ने शुक्रवार को 'वोट जिहाद' पर कड़ी आपत्ति जताई और इस मामले में पुलिस द्वारा तलब किए जाने पर प्रतिक्रिया दी. किरीट सोमैया ने न्यूज़ एजेंसी आईएएनएस से बात करते हुए दावा किया कि चुनाव के दौरान सैकड़ों करोड़ रुपए 'वोट जिहाद' के लिए खर्च किए गए. उन्होंने कहा कि इस मामले में मैंने चुनाव आयोग में शिकायत दर्ज कराई थी. उन्होंने बताया कि 'मराठी मुस्लिम महासंघ' के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई गई है और अब मैं यह सुनिश्चित करना चाहता हूं कि मौलाना सज्जाद नोमानी और उलेमा बोर्ड भी इस मामले में जवाबदेह हों.
'वोट जिहाद' का हिसाब करेंगे- सोमैया
उन्होंने कहा कि 'वोट जिहाद' का हिसाब हम लेकर रहेंगे. उन्होंने बताया कि वह आजाद मैदान पुलिस स्टेशन में जाकर अपना बयान दर्ज कराएंगे और मराठी मुस्लिम सेवा संघ द्वारा संचालित 350 से अधिक एनजीओ को मिलने वाली फंडिंग का हिसाब भी मांगा जाएगा. इस दौरान उन्होंने 'लव जिहाद' और 'लैंड जिहाद' जैसे अन्य मुद्दों पर भी चिंता जताई और कहा कि यह देश की एकता और सुरक्षा के लिए खतरे की घंटी हो सकती है.
संविधान की अहमियत पर जोर
वहीं, संविधान निर्माता भारत रत्न डॉ. भीमराव अंबेडकर के महापरिनिर्वाण दिवस के अवसर पर किरीट सोमैया ने बाबा साहेब के बनाए गए संविधान की अहमियत पर भी जोर दिया. उन्होंने कहा कि डॉ. अंबेडकर ने संविधान में स्पष्ट रूप से कहा था कि हिंदुस्तान एक होना चाहिए और आज भी यही शब्द हमारे देश में गूंजता है, हम एक हैं, हम सुरक्षित हैं. इस दौरान उन्होंने इस बात से भी इनकार कर दिया कि 'महायुति' में कोई विवाद है.
इससे पहले, शाइना एनसी ने आईएएनएस से बात करते हुए कहा था कि गुरुवार को एक ऐतिहासिक शपथ ग्रहण समारोह हुआ. जहां हर एक नेता ने यह ठान लिया कि महाराष्ट्र के जनहित में काम करना है. जो भी कयास आरहे हैं, मैं उस पर टिप्पणी नहीं करना चाहती, लेकिन मैं यह जरूर कहूंगी कि हर पार्टी का स्ट्राइक रेट इतना अच्छा रहा है कि सभी पार्टी चाहेंगे कि अच्छे तरीके से काम करें और करते रहें.
किसे मिलेगा गृह मंत्रालय?
उन्होंने कहा कि पिछली बार आपने देखा था कि देवेंद्र फडणवीस के पास गृह मंत्रालय था और वह डिप्टी सीएम भी थे, तो इस बार एक अन्य डिप्टी सीएम को भी गृह मंत्रालय मिल सकता है. लेकिन, मैं अनुमानों पर नहीं जाना चाहती. यह जल्द ही महायुति के नेतृत्व में तय किया जाएगा. मैं मानती हूं कि यह सभी चीजें सार्वजनिक रूप से स्पष्ट हो जाएंगी.
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