Kolkata Doctor News: पश्चिम बंगाल के कोलकाता में महिला डॉक्टर से रेप और बेरहमी से हत्या के मामले में भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कड़ा बयान दिया है. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा है कि वह इस घटना से निराश और भयभीत हैं. राष्ट्रपति ने मामले पर सख्त टिप्पणी करते हुए कहा है कि बस अब बहुत हो गया. वह महिलाओं के खिलाफ अपराधों पर व्यथित हैं. वहीं अब राष्ट्रपति के इस बयान पर शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे की प्रतिक्रया सामने आई है. 


शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने गुरुवार (29 अगस्त) को कहा कि यह अच्छी बात है कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने महिलाओं के खिलाफ अपराधों पर अपनी पीड़ा व्यक्त की है, लेकिन अगर उन्होंने मणिपुर में जो हुआ उसके बाद बोला होता तो ऐसी घटनाएं नहीं होतीं. पूर्व सीएम ने विस्तार से नहीं बताया, लेकिन वह स्पष्ट रूप से उस वीडियो का जिक्र कर रहे थे, जिसमें हिंसा प्रभावित मणिपुर में भीड़ की ओर से मई 2023 में दो महिलाओं को निवर्स्त्र करके घुमाया जा रहा था. इस हमले का वीडियो कुछ महीने बाद सामने आया था, जिससे पूरे देश में आक्रोश फैल गया था.


उद्धव ठाकरे ने बीजेपी पर लगाया ये आरोप
गणेशोत्सव समन्वय समिति के एक कार्यक्रम में बोलते हुए उद्धव ठाकरे ने यह सवाल किया कि क्या हम अपराधों की गिनती करते रहें और फिर कहें कि बहुत हो गया? इस दौरान शिवसेना (यूबीटी) नेता ने बीजेपी पर भी जमकर हमला बोला है. उन्होंने बीजेपी पर फूट डालो और राज करो की ब्रिटिश नीति का इस्तेमाल करने और समाज के अलग-अलग वर्गों के बीच दरार पैदा करने का आरोप लगाया. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महाराष्ट्र यात्रा की पूर्व संध्या पर ठाकरे ने कहा कि पीएम को मणिपुर में अशांति पर बोलने के लिए कुछ समय लगा.


उद्धव ठाकरे ने कहा, "फिलहाल अब यह देखना होगा कि वह शुक्रवार को बदलापुर की घटना या पश्चिम बंगाल में डॉक्टर के रेप-हत्या पर अपने विचार व्यक्त करते हैं या नहीं? शक्ति कानून (महिलाओं के खिलाफ अपराधों के लिए मृत्युदंड सहित कठोर दंड के साथ) की जरूरत है. हालांकि, मौजूदा कानून इस खतरे से निपटने के लिए पर्याप्त हैं, लेकिन क्या होगा अगर उन्हें लागू करने वाले गुंडे हों."


राष्ट्रपति ने क्या कहा?
भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में महिला डॉक्टर से रेप और हत्या के मामले में हो रहे विरोध प्रदर्शन पर भी टिप्पणी की है. उन्होंने कहा, "निंदनीय मानसिकता महिलाओं को कमतर इंसान, कम शक्तिशाली, कम सक्षम, कम बुद्धिमान के रूप में देखती है. उन्होंने कहा कि निर्भया केस के बाद से 12 सालों में समाज द्वारा अनगिनत रेप को भुला दिया गया है."


राष्ट्रपति ने कहा, "इतिहास का सामना करने से डरने वाले समाज सामूहिक भूलने की बीमारी का सहारा लेते हैं. अब समय आ गया है कि भारत इतिहास का सामना करे. हमें इस विकृति से व्यापक तरीके से निपटना चाहिए ताकि इसे शुरू में ही रोका जा सके." 



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