Maharashtra News: महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्षी दलों के विधायकों ने बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से फसलों को हुए नुकसान समेत किसानों के मुद्दों पर विधानसभा में राज्य सरकार के असंतोषजनक जवाब पर विरोध जताते हुए सोमवार को सदन से वॉकआउट किया. विधानसभा की कार्यवाही सुबह 11 बजे शुरू हुई. इस दौरान विपक्षी दल राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के नेता अजीत पवार (Ajit Pawar) ने कहा कि राज्य के विभिन्न हिस्सों में पिछले दिनों हुई बारिश और ओलावृष्टि के कारण किसानों को भारी नुकसान हुआ है.
अजीत पवार ने कहा कि सरकारी अधिकारियों ने क्षति आकलन रिपोर्ट या पंचनामे पर हस्ताक्षर करने से इनकार कर दिया है. वहीं राज्य सरकार इस मुद्दे को हल करने के लिए ठोस कदम नहीं उठा रही है. महाराष्ट्र के राजस्व और पशुपालन मंत्री राधाकृष्ण विखे पाटिल ने कहा कि हमने अधिकारियों से एक सर्वेक्षण करने के लिए कहा है. हम सुनिश्चित करेंगे कि क्षति आकलन रिपोर्ट को अंतिम रूप दिया जाए और अधिकारियों द्वारा इस पर हस्ताक्षर किए जाएं. फसल गंवाने वाले किसानों का विवरण मिल जाने के बाद हम उन्हें कुछ सहायता प्रदान करेंगे.
विधायकों ने किया वॉकआउट
फिलहाल, पवार और विपक्ष के अन्य विधायकों ने सरकार के जवाब को असंतोषजनक बताते हुए विधानसभा से वॉकआउट किया. इससे पहले भी नेता प्रतिपक्ष अजित पवार ने सदन में इस मुद्दे पर आक्रामक रुख अख्तियार किया था. पवार ने राय व्यक्त करते हुए कहा था कि, किसानों के नुकसान के मुद्दे को गंभीरता से लेने की जरूरत है. किसान बचेगा तो राज्य बचेगा. अजित पवार ने कहा था कि सरकार को उसी हिसाब से काम करना चाहिए. उनकी मांग पर मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने जवाब दिया था.
सीएम एकनाथ ने दिया था ये जवाब
अजित पवार ने सभागार में मांग की कि सरकार को किसानों को और मदद देनी चाहिए. इसका जवाब मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने दिया. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि बेमौसम बारिश को लेकर उन्होंने नांदेड़ के जिला कलेक्टर से बात की है. नांदेड़ कलेक्टर अभिजीत राउत खुद क्षतिग्रस्त इलाके में गए हैं. वहां पंचनामा शुरू हो रहा है. मैंने नासिक के जिला कलेक्टर से भी बात की है.