Maharashtra Cabinet Expansion: महाराष्ट्र में लंबे समय के इंतजार के बाद मंत्रिमंडल विस्तार हुआ और देवेंद्र फडणवीस की सरकार आखिरकार तैयार हो गई. हालांकि, अब महायुति में विस्तार पर विवाद की बू आने लगी है. कैबिनेट में जगह न मिलने पर महायुति की प्रमुख पार्टियों (बीजेपी, शिवसेना और एनसीपी) समेत अन्य सहयोगी दलों के नेता भी अपनी-अपनी नाराजगी खुले तौर पर व्यक्त कर रहे हैं.


कैबिनेट में जगह न मिलने पर BJP में नाराजगी
नागपुर पूर्व विधानसभा सीट से बीजेपी विधायक कृष्णा खोपड़े को मंत्री बनने का मौका नहीं मिलने से क्षेत्र के बीजेपी कार्यकर्ताओं में गुस्सा है. रविवार (15 दिसंबर) की रात शपथ ग्रहण समारोह खत्म होने के बाद बड़ी संख्या में कार्यकर्ता कृष्णा खोपड़े के घर के पास जमा हो गए थे. उन्होंने बीजेपी में संगठनात्मक पदों से इस्तीफा देने का सामूहिक निर्णय लिया है. 


एकनाथ शिंदे के नेता ने दिया इस्तीफा
मंत्री पद न मिलने से गुस्साए भंडारा विधायक नरेंद्र भोंडेकर ने शिवसेना के उपनेता पद से इस्तीफा दे दिया है. चुनाव के दौरान एकनाथ शिंदे ने नरेंद्र भोंडेकर से मंत्री पद का वादा किया था. हालांकि, शपथ ग्रहण के लिए भोंडेकर को फोन नहीं किया गया और न ही तीन बार के विधायक भोंडेकर को कैबिनेट में जगह दी गई.


कैबिनेट विस्तार को लेकर बीजेपी नेता के कट्टर समर्थक और शिवसेना नेता तानाजी सावंत भी नाराज दिख रहे हैं. तानाजी सावंत कल राजभवन नहीं गए क्योंकि उन्हें मंत्री बनने का मौका नहीं मिला.


अजित पवार के नाराज नेता होटल में रुके
मंत्रिमंडल विस्तार से पहले जिन विधायकों का चयन होना था, उनके पास फोन आ गए थे. वहीं, जिनके पास फोन नहीं गया, वे समझ गए कि उनका पत्ता कट गया है. इनमें से एक पूर्व मंत्री छगन भुजबल भी थे, जिससे वे और उनके समर्थक नाराज रहे. नागपुर के देशपांडे हॉल में एनीसीपी की बैठक हुई, लेकिन छगन भुजबल नदारद दिखे. वह अपने होटल में ही रुके रहे. 


अन्य दलों में भी नाराजगी
हाल ही में रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया (ए) के प्रमुख रामदास अठावले ने साफ तौर पर कहा है कि उन्हें कार्यक्रम का निमंत्रण तक नहीं दिया गया. अठावले ने कहा कि उन्होंने देवेंद्र फडणवीस के साथ बैठक की थी और कम से कम एक मंत्रालय मांगा था, लेकिन कैबिनेट में उनकी पार्टी का एक भी चेहरा नहीं है जबकि पार्टी ने महाराष्ट्र चुनाव में अच्छा प्रदर्शन किया है.


नवनीत राणा के विधायक पति राष्ट्रीय युवा स्वाभमान पार्टी के चीफ रवि राणा भी सत्र छोड़कर अमरावती लौट आए थे. उनका कहना है कि जिले में पांच बीजेपी विधायक होने के बाद भी उन्हें मंत्रिमण्डल में जगह नहीं दी गई. इसके अलावा, सोशल मीडिया पर रवि राणा के समर्थकों के पोस्ट वायरल हो रहे हैं. महागठबंधन में मंत्री पद से हटाए गए विधायक भी भड़के हुए हैं.


यह भी पढ़ें: महाराष्ट्र कैबिनेट में जगह न मिलने से शिवसेना के कई विधायक नाराज, एकनाथ शिंदे क्या बोले?