(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
‘मराठा समुदाय के समर्थन से शासक बने, न्याय करने में विफल...’, CM शिंदे का शरद पवार पर बड़ा हमला
Maharashtra Politics: सीएम एकनाथ शिंदे ने मीडिया से बातचीत के दौरान शरद पवार पर निशाना साधा. उन्होंने कहा चुनाव आते जाते रहते हैं अपने राजनीतिक लाभ के लिए विशेष समुदाय का इस्तेमाल न करें.
Maharashtra News: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने शनिवार को कहा कि मराठा समुदाय के समर्थन से जो शासक बने, वे मौका मिलने पर उनके साथ न्याय करने में विफल रहे. उन्होंने यह बात एनसीपी (एसपी) प्रमुख शरद पवार द्वारा ‘‘कोटा मुद्दे पर समुदायों के बीच दरार’’ को लेकर चिंता व्यक्त करने के बाद कही. शिंदे ने मीडिया से बातचीत में राज्य सरकार की ‘लड़की बहिन’ और ‘लड़का भाऊ’ योजनाओं के आलोचकों पर भी निशाना साधते हुए कहा कि जो लोग योजनाओं के क्रियान्वयन में बाधा उत्पन्न करने का प्रयास कर रहे हैं, वे ‘सौतेले भाई’ हैं.
‘हम जो भी करते हैं, खुले तौर पर करते हैं’
सीएम शिंदे ने पवार के इस आरोप को खारिज कर दिया कि महाराष्ट्र सरकार ने मराठा और ओबीसी समुदायों के नेताओं के साथ अलग-अलग बैठकें कीं और उन्हें अलग-अलग आश्वासन दिए. मुख्यमंत्री ने कहा हम जो भी करते हैं, खुले तौर पर करते हैं. उन्होंने कहा, ‘‘यह महा विकास आघाडी (एमवीए) सरकार ही थी, जो मराठा समुदाय को आरक्षण देने के देवेंद्र फडणवीस सरकार के फैसले का उच्चतम न्यायालय में बचाव नहीं कर सकी. एमवीए में शिवसेना (यूबीटी), एनसीपी (एसपी) और कांग्रेस शामिल हैं.
‘राजनीतिक लाभ के लिए किसी विशेष समुदाय का इस्तेमाल न करें’
शिंदे ने कहा कि उनकी सरकार ने ओबीसी समूहों के कोटे को प्रभावित किए बिना मराठा समुदाय को आरक्षण दिया. मुख्यमंत्री ने कहा जब हम फिर से सत्ता में आए, तो हमने आरक्षण दिया. हमने अतिरिक्त पद भी सृजित किए और आरक्षण के लाभ के लिए पात्र लोगों को नौकरियां दीं. तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली एमवीए सरकार का परोक्ष रूप से संदर्भ देते हुए उन्होंने कहा, जो पहले सत्ता में थे, वे नीति को लागू करने से डरते थे.
सीएम शिंदे ने पवार को आरक्षण के मुद्दे पर पारदर्शी रुख अपनाने और राजनीतिक लाभ के लिए किसी विशेष पार्टी को बंधक न बनाने की चुनौती भी दी. उन्होंने कहा, ‘‘चुनाव आते-जाते रहते हैं. राजनीतिक लाभ के लिए किसी विशेष समुदाय का इस्तेमाल न करें.
‘योजनाओं में बाधा डालने की कोशिश कर रहे हैं’
बता दें कि पवार ने महाराष्ट्र सरकार की ‘लड़की बहिन’ और ‘लड़का भाऊ’ योजनाओं की निरंतरता पर भी संदेह व्यक्त किया था और कहा था कि एक या दो किस्त के भुगतान के बाद इन्हें बंद कर दिया जा सकता है. पलटवार करते हुए शिंदे ने कहा, ‘‘विपक्ष दोनों योजनाओं पर मिली प्रतिक्रिया को पचा नहीं पा रहा है. उन्हें अपच हो रही है... उन्हें हाजमोला लेना चाहिए. वे सौतेले भाई हैं, जो दोनों योजनाओं में बाधा डालने की कोशिश कर रहे हैं. ‘लड़का भाऊ’ कार्यक्रम के तहत, कक्षा 12वीं पास नौकरी के आकांक्षी युवाओं को 6,000 रुपये, डिप्लोमा धारकों को 8,000 रुपये और स्नातक की डिग्री वालों को 10,000 रुपये मासिक वजीफा मिलेगा. ‘लड़की बहिन’ योजना के तहत पात्र महिलाओं को प्रति माह 1,500 रुपये मिलेंगे.
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