Maharashtra Politics: महाराष्ट्र की महायुति सरकार में मंत्री पद न मिलने पर एनसीपी विधायक छगन भुजबल नाराज हैं. साथ ही ओबीसी समुदाय के सदस्यों ने डिप्टी सीएम अजित पवार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. इस बीच नासिक में महात्मा फुले समता परिषद के सदस्यों और प्रमुख ओबीसी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए एनसीपी नेता छगन भुजबल ने कहा कि कोई भी पद हो मैं हमेशा ओबीसी और पिछड़ी जाति के भाइयों के साथ हूं.
छगन भुजबल ने कहा, "येवला-लासलगांव के लोगों ने मेरे लिए बहुत साहस और जी-जान से लड़ाई लड़ी. इसलिए मैं आज अपने लोगों को राज्यसभा जाने के लिए नहीं छोड़ सकता. फिलहाल सवाल मेरे मंत्रालय का नहीं है, सवाल यह है कि कल को जब समाज का मुद्दा उठेगा तो सुरक्षा का कवच कौन उठाएगा?"
विरोध केवल भीड़तंत्र का था और है- छगन भुजबल
उन्होंने कहा, "दलित, मुस्लिम, पिछड़ा वर्ग के साथ मराठा समाज भी हमारे साथ हैं. मैंने मराठा समुदाय के लिए आरक्षण का कभी विरोध नहीं किया. विरोध केवल भीड़तंत्र का था और है. समस्या का समाधान होना चाहिए, लेकिन एक-दूसरे के खिलाफ नहीं. अगर आप 350 से ज्यादा जातियों में आते हैं तो आपको भी फायदा नहीं होगा."
भुजबल ने ओबीसी समुदाय से अपने आरक्षण कोटा की रक्षा और अपने मुद्दों को सुलझाने के लिए एकजुट होने की अपील की. उन्होंने कहा कि मराठों को आरक्षण दिया जाना चाहिए, लेकिन ओबीसी कोटा को छेड़े बिना. भुजबल ने अपने समुदाय से एकजुट रहने का आह्वान किया.
'महायुति को OBC समुदाय के समर्थन से मिली जीत'
उन्होंने दावा किया कि महायुति को विधानसभा चुनाव में मिली बड़ी जीत सिर्फ लड़की बहिन योजना की वजह से नहीं, बल्कि ओबीसी समुदाय के समर्थन से मिली थी." उन्होंने आगे आने वाले चुनावों में महायुति को नुकसान की चेतावनी दी.
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