Maharashtra News: शिवसेना (यूबीटी) को उस वक्त झटका लगा, जब करीब 90 नेता और कार्यकर्ता शुक्रवार को महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली बालासाहेबंची शिवसेना (बीएसएस) में शामिल हो गए. कार्यकर्ता, ब्लॉक से लेकर जिला स्तर के नेताओं तक, नासिक से लगभग 60 और परभणी से 30 स्थानीय शिवसेना (यूबीटी), राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, कांग्रेस और अन्य शामिल थे, जिन्होंने बीएसएस का दामन थामा.


आने वाले दिनों में और कार्यकर्ताओं होंगे शामिल- शिंदे
आज दोपहर पार्टी में उनका स्वागत करते हुए शिंदे ने कहा कि आने वाले दिनों में कई और लोग बीएसएस में शामिल होंगे, जो दिवंगत बालासाहेब ठाकरे और आनंद दीघे के आदर्शों पर काम कर रहे हैं.  शिंदे ने कहा, बीएसएस-बीजेपी सरकार पिछले 6 महीनों में बहुत अच्छा काम कर रही है, इसलिए इतने सारे लोग पार्टी की ओर आकर्षित हुए हैं और आने वाले दिनों में कई और लोग हमारा समर्थन करेंगे, क्योंकि हम सभी को साथ लेकर चलते हैं.


'राज्य के लोग सरकार के काम का समर्थन कर रहे हैं'
एकनाथ शिंदे ने कहा, हम बहुत तेजी से और शांति से काम कर रहे हैं, जबकि कुछ लोग जो कुछ नहीं करते हैं, वे अपने योगदान के बड़े-बड़े दावे करते हैं और यही कारण है कि राज्य के लोग सरकार का समर्थन कर रहे हैं.


जो गए वो पार्टी के लिए जरूरी नहीं- संजय राउत
 प्रतिक्रिया में, शिवसेना (यूबीटी) के मुख्य प्रवक्ता संजय राउत ने कहा कि जो जा रहे हैं वे पार्टी के लिए जरुरी नहीं हैं. पार्टी अभी भी नासिक और परभणी दोनों में मजबूत बनी हुई है. महाराष्ट्र विधान परिषद में शिवसेना (यूबीटी) की उपाध्यक्ष डॉ. नीलम गोरहे ने कहा कि अगर कार्यकर्ता और नेता इस तरह पार्टी छोड़ रहे हैं तो पार्टी नेतृत्व को घटनाक्रम पर गंभीरता से ध्यान देना चाहिए.


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