Maharashtra News: मध्य कश्मीर में आतंकवादियों द्वारा एक कश्मीरी पंडित की गोली मारकर हत्या कर दिये जाने के एक दिन बाद शिवसेना के नेता संजय राउत ने शुक्रवार को कहा कि, अनुच्छेद 370 निरस्त किये जाने के बाद भी यदि यह समुदाय सुरक्षित नहीं है तो केंद्र को कठोर कदम उठाने की आवश्यकता है. लश्कर-ए- तैयबा के दो आतंकवादियों ने गुरूवार को बडगाम जिले के एक सरकारी कार्यालय में घुसकर राहुल भट (35) नामक कश्मीरी पंडित की गोली मारकर हत्या कर दी थी.
तहसील कार्यालय में मिली थी नौकरी
भट को कश्मीरी पंडित प्रवासियों के लिए विशेष रोजगार पैकेज के तहत चडूरा के तहसील कार्यालय में नौकरी मिली थी. भट को घायलावस्था में श्रीनगर के एक प्रमुख अस्पताल ले जाया गया था, लेकिन उनकी मृत्यु हो गई.
केंद्र सरकार पर कसा तंज
इस हत्याकांड पर राउत ने यहां पत्रकारों से कहा कि (जम्मू कश्मीर में) इस तरह की घटनाएं निरंतर जारी हैं. उन्होंने केंद्र सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह कश्मीरी पंडितों को लेकर काफी भावुक हैं और घाटी में उनकी (कश्मीरी पंडितों की) वापसी की बात हो रही है. उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन जो लोग वहां रह गए हैं उन्हें भी वहां रहने नहीं दिया जा रहा है. उन्हें मारा जा रहा है. गृह मंत्री को इन घटनाओं को बहुत गंभीरता से लेना चाहिए.’’
कठोर कदम उठाने की आवश्यकता
उन्होंने सवाल खड़े किये कि आखिर सरकार क्या कर रही है, क्योंकि पाकिस्तान को हर समय दोषी नहीं ठहराया जा सकता. राउत ने कहा, ‘‘यदि अनुच्छेद 370 हटाने के बाद भी कश्मीरी पंडित और आम आदमी सुरक्षित नहीं है तो आपको कठिन कदम उठाने की आवश्यकता है. कश्मीरी पंडितों और कश्मीर समस्या का हल हनुमान चालीसा और मस्जिदों पर लाउडस्पीकर मुद्दे से नहीं हो सकता है. सरकार को इस मामले में व्यावहारिक होना होगा.’’
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