Manoj Jarange Patil On Maratha Community: महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण आंदोलन के नेता मनोज जरांगे पाटील प्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले अपनी रणनीति पर काम कर रहे हैं. वो राज्य में अब अपनी भूमिका 29 अगस्त को तय करेंगे. इस बात को लेकर सस्पेंस बरकरार है कि वो तीसरे मोर्चे में जाएंगे या सरकार के खिलाफ बिगुल बजाएंगे?


मराठा आरक्षण की मांग का अहम चेहरा बने मनोज जरांगे पाटील ने कहा, ''मैं अपने समाज की ताकत बढ़ाना चाहता हूं. यही मेरा सपना है. समाज को बड़ा बनाना बहुतों का सपना नहीं है. मैं प्रकाश अंबेडकर के आरोप पर विश्वास नहीं करता.''


महादेव जानकर पर जरांगे ने कहा, ''29 अगस्त को अपनी भूमिका बता दूंगा, धनगर मराठा समाज के पास यही मौका है. पंकजा मुंडे के मामले में मैं किसी सवाल का जवाब नहीं देता. आम जनता के लिए यह समझना जरूरी है कि आरक्षण का विरोध कौन करता है?''


उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि मैं कोई भी निर्णय लेने में जल्दबाजी नहीं कर सकता. समाज के प्रति मेरी बड़ी जिम्मेदारी है कि मैं तय करूं कि तीसरे मोर्चे में जाना है या क्या करना है? इससे पहले उन्होंने 26 जुलाई को कहा था कि वो हर विधानसभा के बारे में क्षेत्रवार जानकारी 14 अगस्त से 20 अगस्त तक इकट्ठा करेंगे.


इससे पहले उन्होंने कहा था वो 14 अगस्त से 20 अगस्त तक हर विधानसभा क्षेत्र से अपने समाज की स्थिति के बारे में जानकारी जुटाएंगे. राज्य में 288 विधानसभा क्षेत्र हैं. राज्य भर से मराठा समुदाय के सदस्य 29 अगस्त को मिलेंगे और चुनाव के संबंध में फैसला लेंगे.''


उन्होंने (25 जुलाई) को कहा था कि वह और उनके समर्थक मराठों के लिए आरक्षण का समर्थन करने वाले किसी भी राजनीतिक दल या नेता का समर्थन करेंगे. बता दें कि महाराष्ट्र में इसी साल विधानसभा के चुनाव होने हैं. ऐसे में मराठा आरक्षण आंदोलन के बड़ा चेहरा बने मनोज जरांगे पाटील अहम फैसला ले सकते हैं.


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