New Criminal Law: देश में सोमवार को तीन नए आपराधिक कानून लागू हो गए, जिससे भारत की आपराधिक न्याय प्रणाली में दूरगामी बदलाव आएंगे. इस बीच महाराष्ट्र के छत्रपति संभाजीनगर में नई धारा के मुताबिक पहला मामला दर्ज किया गया. ये केस एम सिडको पुलिस स्टेशन में दर्ज किया गया है. पहले 376 अब धारा 64 के तहत अपराध है. घटना एकता नगर में हुई. दूध लेने गई महिला से अज्ञात व्यक्ति ने मारपीट की थी. इस मामले में 30 वर्षीय अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है.


महाराष्ट्र राज्य पुलिस सोमवार 1 जुलाई से तीन नए आपराधिक कानून लागू करने के लिए पूरी तरह तैयार है. महाराष्ट्र पुलिस मुख्यालय ने पुलिस अधिकारियों को पुराने कानूनों से नए कानूनों में परिवर्तन में सहायता के लिए एक 'अपराध सूचना पुस्तिका' वितरित की है.


इस पुस्तिका के साथ, राज्य पुलिस ने अपराध, महिलाओं और बच्चों के विरुद्ध अपराध, संपत्ति अपराध, आर्थिक अपराध, संगठित अपराध, आतंकवादी कृत्य और दुर्घटनाओं से निपटने के लिए विस्तृत मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) भी जारी की है.


डीजीपी रश्मि शुक्ला ने 95 पन्नों की पुस्तिका के स्वागत नोट में पुलिसकर्मियों से इस पुस्तिका का उपयोग करने का आग्रह करते हुए कहा, "इस पुस्तिका के रूप में सिस्टम का एक बेहतरीन डेटाबेस तैयार किया गया है. इसकी मदद से केस दर्ज करते समय धाराओं और जांच को लेकर होने वाली उलझन से आसानी से बचा जा सकता है." नवी मुंबई के पुलिस आयुक्त और वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी मिलिंद भारम्बे ने यह पुस्तिका तैयार की है, जिसे 26 जून को सभी जिला पुलिस, आयुक्तालयों, आईजी और डीआईजी कार्यालयों में वितरित किया गया है.


क्या है नया कानून?
भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) 2023 और भारतीय साक्ष्य अधिनियम (बीएसए) 2023 आज से पूरे देश में प्रभावी हो गए हैं. इन तीनों कानून ने ब्रिटिश कालीन कानूनों क्रमश: भारतीय दंड संहिता (आईपीसी), दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) और भारतीय साक्ष्य अधिनियम की जगह ली है.


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