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Maharashtra: 'यशोभूमि' का 28 साल पहले महाराष्ट्र की राजनीति से है ये खास कनेक्शन, जानें कैसे केंद्र की सत्ता में पहुंची थी BJP
YashoBhoomi: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जिस इंडिया इटरनेशनल का उद्घाटन किया उसका नाम यशोभूमि रखा गया है. बीजेपी को सत्ता शिखर पर पहुंचाने में भी 'यशोभूमि' का बड़ा योगदान रहा है. जानिए कैसे?
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Maharashtra News: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार 17 सितंबर को इंडिया इंटरनेशनेल कन्वेंशन और एक्सपो सेंटर यशोभूमि (IICC) के पहले फेज का इनागरेशन किया है. दिल्ली के द्वारका में बना ये दुनिया का सबसे बड़ा MICE (मिटिंग, इंसेटिव, कान्फेंस और एग्जीबीशन सेंटर है. लगभग 5400 करोड़ की लागत से बना यशोभूमि हर आधूनिक सेवा से लैस होगा. वैसे कुछ नाम और तिथियां किसी व्यक्ति या संस्था के लिए चमत्कारी सिद्ध होती है, ऐसा ही एक नाम है 'यशोभूमि'. बता दें, बीजेपी को सत्ता शिखर पर पहुंचाने में भी एक यशोभूमि का बड़ा योगदान रहा है.
महासचिव विनोद तावडे ने क्या कहा?
वहीं, आज बीजेपी भले ही सत्ता के शिखर पर पहुंच गई हो. लेकिन, अयेध्या में विवादित ढ़ाचा ढहाए जाने के बाद बीजेपी की कई राज्य सरकारें बर्खास्त कर दी गई थी. इसके बाद हुए चुनाव में वे सरकारें वापस भी नहीं आ सकी थी. महाराष्ट्र में शिवसेना के साथ गठबंधन की सत्ता मिलते ही उसने मुबंई के महालक्ष्मी रेसकोर्स मैदान में अपना बड़ा अधिवेशन किया था, पूरे रेसकोर्स मैदान में कुंभ के मेले जैसे टेंट लगाए गए थे.
उस समय प्रमोद महाजन कि देख-रेख में हुए इस भव्य अधिवेशन का नामकरण बीजेपी ने किया था, जिसको रखा गया 'यशोभूमि'. पार्टी के राष्ट्रिय महासचिव विनोद तावड़े ने कहा कि 1995 में 7 से 9 नवंबर को हुआ यह अधिवेशन बीजेपी सरकार के लिए शुभ साबित हुआ कि उसके बाद 1996 में बीजेपी 161 सीटें जीतकर सबसे बडे़ दल के रूप उभरी और अटल बहारी वीजपेयी के नेतृत्व में उसे सरकार बनाने का अवसर मिला.
यह और बात है कि अनेक दलों को जोड़कर बनी सरकार अपना बहुमत सिद्ध नहीं कर पाई और सिर्फ 13 दिन की अल्पजीवी सरकार बनकर रह गई. लेकिन, उसी समय तेरह दिन कि सरकार से शुरू हुआ बीजेपी का सत्ता का सफर 2019 में उसे 303 तक ले आया है. उस अधिवेशन की आयोजन समिति के सक्रिय सदस्य रहे मुंबई बीजेपी के वरिष्ठ नेता आरयू सिंह बताते हैं कि तब शिवसेना बीजेपी की नई-नई सरकार बनी थी.
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