Ramdas Athawale News: संविधान निर्माता भीमराव अंबडेकर को लेकर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के बयान को विपक्ष ने बड़ा मुद्दा बनाते हुए उनसे इस्तीफे की मांग की है. कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी पार्टियों ने लोकसभा और राज्यसभा में भी बवाल काटा. वहीं संसद के बाहर प्रदर्शन किए. इस बीच सरकार ने कहा कि अमित शाह के बयान को काट-छांटकर चलाया गया.


केंद्रीय मंत्री और रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया (आरपीआई) के अध्यक्ष रामदास अठावले ने कहा कि कांग्रेस को टिप्पणी करने का कोई अधिकार नहीं है.


रामदास अठावले ने क्या कहा?


सामाजिक न्याय एवं सशक्तिकरण मंत्री अठावले ने कहा, ''अमित शाह जब संविधान पर चर्चा का जवाब दे रहे थे, तभी उन्होंने बयान दिया. अमित शाह का कहने का मतलब था कि कांग्रेस ने बाबासाहेब अंबेडकर को 2 बार हराया था. कांग्रेस के कारण ही उन्हें मंत्रिमंडल से इस्तीफा देना पड़ा था. ये बाबासाहेब को अपमानित करने वाले लोग हैं. लेकिन फिर भी अंबेडकर-अंबेडकर करते रहते हैं. बाबासाहेब के बारे में अमित शाह को बहुत सम्मान है. उन्होंने बाबासाहेब का अपमान करने वाली कांग्रेस को जवाब देने का काम किया था.''


अमित शाह ने मंगलवार (17 दिसंबर) को संविधान पर चर्चा का जवाब देते हुए कांग्रेस को घेरा और कहा कि पार्टी ने हमेशा भीमराव अंबेडकर का अपमान किया. इसी दौरान उन्होंने कहा कि ''...अभी एक फैशन हो गया है- अंबेडकर, अंबेडकर... इतना नाम अगर भगवान का लेते तो सात जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता.’’


अमित शाह का पलटवार


इस बयान पर विवाद के बाद अमित शाह ने बुधवार को सफाई दी. उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा, ‘‘कल से कांग्रेस ने जिस तरह से तथ्यों को तोड़-मरोड़ कर रखने का प्रयास किया है, वह अत्यंत निंदनीय है. मैं इसकी निंदा करना चाहता हूं.’’  


अमित शाह ने कहा कि तय हो गया कि कांग्रेस आंबेडकर की विरोधी पार्टी है. कांग्रेस आरक्षण विरोधी और संविधान विरोधी पार्टी है. कांग्रेस ने सावरकर का भी अपमान किया. कांग्रेस ने आपातकाल लगाकर संविधान के सारे मूल्यों की धज्जियां उड़ा दी. नारी सम्मान को भी वर्षों तक दरकिनार किया.


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