Maharashtra: पोते रोहित पवार को ED का समन मिलने पर शरद पवार बोले- 'हमें ऐसी प्रवृत्तियों को हराने के लिए...'
Maharashtra Politics: एनसीपी चीफ शरद पवार ने रोहित पवार को ईडी का समन दिए जाने पर प्रतिक्रिया दी है. उनका कहना है कि सत्तारूढ़ पार्टी विरोधियों को चुप कराने के लिए ऐसा कर रही है.
Maharashtra News: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के प्रमुख शरद पवार (Sharad Pawar) ने शनिवार को आरोप लगाया कि राजनीतिक विरोधियों को डराने और चुप कराने के लिए प्रवर्तन निदेशालय (ED) का इस्तेमाल एक उपकरण के रूप में किया जा रहा है. वह ईडी द्वारा रोहित पवार (Rohit Pawar) को समन जारी करने से जुड़े सवाल का जवाब दे रहे थे. ईडी ने महाराष्ट्र राज्य सहकारी बैंक (MSCB) घोटाले में धन शोधन जांच के तहत 24 जनवरी को पूछताछ के लिए शरद पवार के पोते और महाराष्ट्र (Maharashtra) के विधायक रोहित पवार को तलब किया है.
ईडी ने पांच जनवरी को बारामती, पुणे, औरंगाबाद और कुछ अन्य स्थानों पर रोहित पवार के स्वामित्व वाली कंपनी बारामती एग्रो और कुछ संबंधित इकाइयों के परिसर पर छापा मारा था. रोहित पवार (38) महाराष्ट्र विधानसभा में कर्जत-जामखेड सीट से एनसीपी विधायक हैं. बारामती एग्रो के मालिक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) हैं. पहली बार विधायक निर्वाचित हुए रोहित एनसीपी के शरद पवार गुट से हैं.
राजनीतिक विरोधियों को चुप कराने की कोशिश- शरद पवार
केंद्र पर निशाना साधते हुए शरद पवार ने दावा किया, ‘‘सत्ता का दुरुपयोग करके ईडी का इस्तेमाल राजनीतिक विरोधियों को चुप कराने और उन्हें डराने के लिए किया जा रहा है. हमें ऐसी प्रवृत्तियों को हराने के लिए जनता के पास जाना होगा.’’ आगामी लोकसभा चुनाव के लिए सीट बंटवारे के बारे में पूछे जाने पर पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रकाश आंबेडकर की वंचित बहुजन आघाड़ी, पीजेंट्स एंड वर्कर्स पार्टी (पीडब्ल्यूपी) और वामपंथी दलों को महा विकास आघाड़ी (एमवीए) में लाने के लिए बातचीत चल रही है.
'अजित पवार को राजनीति में आने का मौका किसने दिया'
शरद पवार ने कहा, ‘‘जल्द ही अंतिम निर्णय लिया जाएगा. एमवीए के तीनों साझेदारों की एक समिति सीट बंटवारे के फॉर्मूले पर काम कर रही है.’’ महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार के बार-बार दोहराए जाने वाले बयान के बारे में पूछे जाने पर कि बुजुर्ग लोग युवाओं को राजनीति में मौका नहीं दे रहे हैं, शरद पवार ने कहा कि वह ऐसी बातों को महत्व नहीं देते हैं. शरद पवार ने कहा, ‘‘उन्हें (अजित पवार) राजनीति में मौका किसने दिया? उन्हें चुनाव लड़ने का टिकट किसने दिया.’’ पिछले साल जुलाई में अजित पवार और आठ विधायकों के एकनाथ शिंदे सरकार में शामिल होने के बाद एनसीपी टूट गई थी.
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