Maharashtra Shiv Sena News: महाराष्ट्र विधानसभा के बजट सत्र से कुछ दिन पहले अध्यक्ष राहुल नार्वेकर (Rahul Narwekar) ने गुरुवार को कहा कि उन्हें सदन में अलग पार्टी होने का दावा करने वाले किसी समूह का आवेदन नहीं मिला है. निर्वाचन आयोग द्वारा मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) के नेतृत्व वाले धड़े को वास्तविक शिवसेना के रूप में मान्यता देने और चुनावों में धनुष और तीर चिह्न का इस्तेमाल करने की अनुमति देने के मामले में नार्वेकर की टिप्पणी आई है. निर्वाचन आयोग के फैसले से उद्धव ठाकरे खेमा को बड़ा झटका लगा है. नार्वेकर ने बताया कि मुख्यमंत्री शिंदे के नेतृत्व में 55 शिवसेना विधायकों और उनके मुख्य सचेतक भरत गोगावाले वाली पार्टी को ही मान्यता प्राप्त है. राज्य विधानमंडल का बजट सत्र 27 फरवरी से 25 मार्च तक चलेगा, जबकि बजट 9 मार्च को पेश होना है.
महाराष्ट्र के स्पीकर ने क्या कहा?
महाराष्ट्र विधानसभा के अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने कहा कि मुझे अब तक कोई आवेदन नहीं मिला है कि पार्टी (शिवसेना) में विभाजन हुआ है. अगर मुझे पत्र मिलता है तो संविधान की दसवीं अनुसूची (जो दल-बदल से संबंधित है) के नियमों के अनुसार निर्णय लिया जाएगा. वर्ष 2019 के विधानसभा चुनाव में शिवसेना के चुनाव चिह्न पर 56 विधायक चुने गए थे. उनमें से एक, रमेश लटके की मृत्यु के कारण पिछले साल उपचुनाव हुआ, जिसमें रमेश लटके की पत्नी रुतुजा लटके ने शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के उम्मीदवार के रूप में जीत हासिल की, जिसे मशाल चुनाव चिह्न दिया गया था.
बता दें कि चुनाव आयोग के द्वारा मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के धड़े को मान्यता देने के बाद राजनीतिक गलियारों में चार्चा का दौर तेज है. इसके बाद उद्धव ठाकरे पक्ष के अधिकांश नेताओं ने इसे चोरी करार दिया था. चुनाव आयोग के फैसले पर रोक लगाने को लेकर उद्धव ठाकरे सुप्रीम कोर्ट पहुंचे जाहं उन्हें राहत नहीं मिली. सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग के फैसले पर फिलहाल रोक लगाने से मना कर दिया.
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