औरंगजेब की कब्र को लेकर उपजे विवाद के बीच शरद पवार की बेटी और बारामती से सांसद सुप्रिया सुले का बयान सामने आया है. विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल ने इसे हटाने की मांग की है. इस पर सुप्रिया सुले ने कहा कि ये किसी राजनीतिक दल का विषय नहीं है. ये ऐतिहासिक विषय हैं. इसमें हमारे जैसे किसी राजनेता को दखल नहीं देना चाहिए. ये इतिहास का विषय है और इतिहासकारों को इस पर राय देनी चाहिए. हम इन विषयों पर हमें पुख्ता जानकारी नहीं होती है.
सरकार का फोकस विकास पर होना चाहिए- सुले
सुप्रिया सुले ने कहा, "मैं महाराष्ट्र सरकार से अपील करती हूं कि वह इसमें न पड़ें हो और विशेषज्ञों को इस पर फैसला लेने दें. सरकार सेवा के लिए होती है. उन्हें भ्रष्टाचार पर फोकस करना चाहिए. न खाऊंगा, न खाने दूंगा उनकी लाइन है, राज्य में भ्रष्टाचार का क्या हुआ? हर चैनल बेरोजगारी के बारे में दिखा रहे हैं. भारी संख्या में क्वालिफाइड युवाओं के पास नौकरी नहीं है. महंगाई, बेरोजगारी, महाराष्ट्र का विकास और भ्रष्टाचार ये सभी मुद्दे पूरी तहर से पीछे हो चुके हैं. सरकार का फोकस राज्य के विकास पर होना चाहिए."
विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल ने दी चेतावनी
बता दें कि विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल ने चेतावनी दी है कि अगर औरंगजेब की कब्र को सरकार ने नहीं हटाया तो हम कारसेवा कर उसको हटा देंगे. इस अल्टीमेटम के बाद लगातार राजनीतिक प्रतिक्रिया सामने आ रही हैं.
पुलिस ने बढ़ा दी सुरक्षा
बीजेपी के सहयोगी और केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने कहा कि छत्रपति संभाजीनगर जिले में मुगल बादशाह औरंगजेब की कब्र को हटाने की मांग का विरोध करते हुए कहा कि ऐसे कदम से किसी उद्देश्य की पूर्ति नहीं होगी. उन्होंने यह भी कहा कि इस मामले का राजनीतिकरण नहीं किया जाना चाहिए. उन्होंने दलील दी कि औरंगेजब की कब्र उसके द्वारा किए गए बुरे कामों को दिखाती है. हिंदू संगठनों की चेतावनी के बाद मुगल शासक के कब्र और उसके नजदीकी क्षेत्रों में पुलिस ने सुरक्षा व्यवस्था को कड़ा कर दिया है.