Pune IAS Pooja Khedkar: UPSC ने आईएएस पूजा खेडकर पर बड़ी कार्रवाई की है. उनपर FIR दर्ज कराई गई है. पात्रता रद्द करने को लेकर नोटिस जारी किया गया है.


खतरे में पूजा खेडकर की नौकरी
ABP माझा के अनुसार, पूजा खेडकर की ओर से यूपीएससी परीक्षा में शामिल होने के लिए जमा किया गया सर्टिफिकेट फर्जी साबित हुआ है, जिसके बाद यूपीएससी ने यह फैसला लिया है. 2018 तक पूजा खेडकर एक सामान्य छात्रा के तौर पर परीक्षा दे रही थीं. लेकिन 2018 के बाद उसने अपना नाम बदल लिया, फर्जी पहचान बनाई, विकलांगता के फर्जी दस्तावेज जमा किए. इन फर्जी दस्तावेजों को प्राप्त करते समय उन्होंने जानकारी छिपाई. जब उसकी मेडिकल जांच कराने का निर्णय लिया गया तो वह मेडिकल जांच में शामिल नहीं हुई. उसके बाद कई गंभीर मामले सामने आए और उसके बाद यूपीएससी ने यह कदम उठाया है.






सवाल ये है कि क्या सिर्फ पूजा खेडकर पर ही कार्रवाई होगी या ये देखना अहम होगा कि जांच उन लोगों तक भी पहुंच पाएगी जिन्होंने समय-समय पर ऊपर से नीचे तक उनका समर्थन किया है. पूजा खेडकर की रैंक 821 थी और इस रैंक पर उन्हें महाराष्ट्र राज्य में कैडर मिलना लगभग असंभव है. लेकिन फिर भी उन्हें वो कैडर किसकी वजह से मिला? इतना ही नहीं बल्कि कैडर मिलने के बाद उन्हें अपना गृहनगर पुणे किसके प्रभाव से मिला? ये सवाल लगातार उठ रहे हैं.


बयान में कहा गया है कि, "यूपीएससी ने पुलिस अधिकारियों के पास प्रथम सूचना रिपोर्ट (एफआईआर) दर्ज करके आपराधिक मुकदमा चलाने सहित उनके खिलाफ कई कार्रवाई शुरू की है और सिविल सेवा परीक्षा-2022 के नियमों के अनुसार सिविल सेवा परीक्षा-2022 की उनकी उम्मीदवारी रद्द करने और भविष्य की परीक्षाओं, चयनों से रोकने के लिए कारण बताओ नोटिस जारी किया है."


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