रामपुर, एबीपी गंगा। उत्तर प्रदेश के रामपुर में पुलिस ने आज सपा सांसद आज़म खान के करीबी रहे हैड कांस्टेबिल धर्मेन्द्र चौहान को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. वर्तमान में शाहजहांपुर में तैनात हैड कांस्टेबिल धर्मेन्द्र चौहान सपा सरकार में रामपुर में तैनात था और सीओ सिटी आले हसन का गनर हुआ करता था. धर्मेन्द्र चौहान पर रामपुर में लगभग एक दर्जन मुक़दमे दर्ज हैं. शुक्रवार को धर्मेन्द्र चौहान रामपुर की जिला अदालत में समर्पण करने के लिए आया था लेकिन पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया.


गौरतलब है कि सपा सरकार में रामपुर शहर कोतवाली क्षेत्र के मुहल्ला घोसियान में यतीमखाना प्रकरण हुआ था. आज़म खान के मंत्री रहते हुए यतीमखाने में रह रहे परिवारों को बलपूर्वक पुलिस ने बेदखल कर दिया गया था और लोगो के घर तोड़ कर इस ज़मीन पर सपा नेता आज़म खां ने अपने रामपुर पब्लिक स्कूल का निर्माण करा लिया था.


12 मामले थे दर्ज 
प्रदेश में भाजपा सरकार आने पर करीब डेढ़ साल पहले इस मामले में 12 अलग-अलग रिपोर्ट कोतवाली रामपुर में दर्ज की गईं थीं. जिनमे सपा नेता आज़म खां, और उनके करीबी रहे तत्कालीन सीओ सिटी आले हसन और उनके गनर धर्मेन्द्र चौहान को आरोपी बनाया गया था.


सरेंडर करने आया था धर्मेंद्र 
आज़म खान और रिटायर्ड सीओ आले हसन जेल जा चुके हैं और पुलिस को हैड कांस्टेबिल धर्मेंद्र चौहान की तलाश थी. धर्मेन्द्र चौहान ने रामपुर की जिला अदालत में सरेंडर करने के लिए अपने अधिवक्ता के माध्यम से प्रार्थना पत्र दिया था लेकिन पुलिस को इसकी खबर हो गई. उसने धर्मेन्द्र चौहान को कलेक्ट्रेट परिसर से गिरफ़्तार कर लिया. धर्मेन्द्र चौहान ने अपनी गिरफ़्तारी से पहले मीडिया से बात करते हुए कहा की पुलिस से उसे अपनी जान का खतरा है. पुलिस उसे झूठे मुकदमो में फंसा सकती है. अदालत से धर्मेन्द्र चौहान के वारंट जारी हो चुके थे और वह कोर्ट में सरेंडर करने आया था लेकिन पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया.


ये भी पढ़ेंः


प्रयागराजः अब एसटीएफ को मिली कोरोना गाइडलाइन्स के पालन करवाने की जिम्मेदारी, 50 टीमें गठित

गोरखपुरः दो दिन तक आसमान से बरसी आफत, किसानों की फसल हुई बर्बाद, अब मदद की दरकार