Punjab News: पंजाब में बठिंडा की एक स्थानीय अदालत ने बुधवार को राज्य के पूर्व वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बादल की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी. मनप्रीत बादल के खिलाफ बठिंडा में एक संपत्ति की खरीद में कथित अनियमितताओं के संबंध में मामला दर्ज किया गया था. मनप्रीत बादल के वकील सुखदीप सिंह ने बठिंडा में मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि अदालत ने जमानत याचिका खारिज कर दी है और अब वे स्थानीय अदालत के फैसले पर गौर करने के बाद उच्च न्यायालय का रुख करेंगे.
बादल के खिलाफ जारी हुआ था लुकआउट सर्कुलर जारी
पंजाब सतर्कता ब्यूरो की कई टीम ने पंजाब, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और राजस्थान में विभिन्न स्थानों पर छापेमारी की थी लेकिन मनप्रीत बादल को अभी तक पकड़ा नहीं जा सका है. ब्यूरो ने बठिंडा में एक संपत्ति की खरीद में कथित अनियमितताओं के संबंध में बादल और पांच अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया था. बादल के खिलाफ बठिंडा की अदालत ने पिछले महीने गिरफ्तारी वारंट जारी किया था। इससे पहले उनके खिलाफ लुकआउट सर्कुलर भी जारी किया गया था.
बीजेपी नेता सिंगला ने लगाए थे आरोप
सतर्कता ब्यूरो ने पूर्व विधायक सरूप चंद सिंगला की 2021 की शिकायत के आधार पर मामले की जांच शुरू की थी, जिसमें बठिंडा में एक प्रमुख स्थान पर संपत्ति की खरीद में अनियमितता का आरोप लगाया गया था. बीजेपी नेता सिंगला ने आरोप लगाया था कि पिछली कांग्रेस सरकार में मंत्री रहते हुए बादल ने दो वाणिज्यिक भूखंडों को अपने लिए आवासीय भूखंड में बदलने की खातिर अपने पद का दुरुपयोग किया था. इस संबंध में भारतीय दंड संहिता की धारा 420 (धोखाधड़ी) और 468 (जालसाजी) सहित भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के प्रावधानों के तहत भी मामला दर्ज किया गया था. सतर्कता ब्यूरो के अनुसार जांच के दौरान, यह पाया गया कि बादल ने मॉडल टाउन चरण -1 बठिंडा में 1,560 वर्ग गज के दो भूखंड खरीदने के लिए अपने पद का दुरुपयोग किया, जिससे राज्य के खजाने को लाखों रुपये का नुकसान हुआ.
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