Chandigarh Mayor Election: अब कब होगा चंडीगढ़ मेयर चुनाव, जानें- किसे बनाया गया है पीठासीन अधिकारी?
Chandigarh Mayor Chunav: चंडीगढ़ मेयर का चुनाव अंतिम समय में स्थगित होने के बाद आम आदमी पार्टी और कांग्रेस पार्षदों ने अपना विरोध दर्ज कराया, इसके बाद जोरदार ड्रामा देखने को मिला.
Chandigarh: चंडीगढ़ नगर निगम मेयर का चुनाव गुरुवार को स्थगित कर दिया गया, क्योंकि पीठासीन अधिकारी अनिल मसीह अस्वस्थ हैं. दोपहर में प्रशासन ने मेयर, सीनियर डिप्टी मेयर और डिप्टी मेयर पद के लिए छह फरवरी को चुनाव कराने की घोषणा की. एक बयान में कहा गया कि यह निर्णय वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक की ओर से सुरक्षा और कानून व्यवस्था की स्थिति के गहन मूल्यांकन के बाद लिया गया है.
इससे पहले गुरुवार को पार्षदों को मिले एक संदेश में कहा गया, ''सूचित किया गया है कि अनिल मसीह के खराब स्वास्थ्य के संबंध में एक टेलीफोन संदेश प्राप्त हुआ है, जिन्हें 18 जनवरी को मेयर पद के लिए होने वाली बैठक के लिए पीठासीन प्राधिकारी के रूप में नामित किया गया है. यू/60 (ए) चंडीगढ़ नगर निगम (प्रक्रिया और व्यवसाय संचालन) विनियम, 1996 के विनियम 6(1) के साथ पढ़ें. उपरोक्त के मद्देनजर अनुरोध है कि अगले आदेश प्राप्त होने तक एमसी कार्यालय न पहुंचें.''
कांग्रेस और आप ने बीजेपी पर निशाना साधा
आम आदमी पार्टी (आप) और कांग्रेस पार्षदों ने अंतिम समय में चुनाव स्थगित करने पर अपना विरोध दर्ज कराया, जिसके बाद जोरदार ड्रामा देखने को मिला. चुनाव रद्द होने के बाद कांग्रेस और आप दोनों ने बीजेपी पर निशाना साधा है. दोनों पार्टियां 2024 के लोकसभा चुनाव से कुछ महीने पहले हो रहे चुनाव में इंडिया गठबंधन के हिस्से के रूप में आपसी तालमेल दिखाते हुए मैदान में हैं.
कांग्रेस नेता पवन बंसल ने मीडिया को बताया, "मुझे सूचित किया गया है कि कांग्रेस कार्यकर्ताओं और पार्षदों को चंडीगढ़ नगर निगम कार्यालय के अंदर जाने की अनुमति नहीं दी जा रही है, क्योंकि पीठासीन अधिकारी की तबीयत ठीक नहीं है और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है. वे (बीजेपी) चुनाव रोकना चाहते हैं. हम आगे बढ़ेंगे, हाईकोर्ट जाएंगे.“
इंडिया गठबंधन से डर गई है बीजेपी- राघव चड्ढा
वहीं राघव चड्ढा ने कहा, “यह स्पष्ट है कि इंडिया गठबंधन इस चुनाव में जीत रहा है और बीजेपी हार रही है. बीजेपी इंडिया गठबंधन से डर गई है." उन्होंने कहा कि यदि कोई पीठासीन अधिकारी बीमार पड़ गया है तो चुनाव कराने के लिए दूसरे पीठासीन अधिकारी को नियुक्त किया जा सकता है. वह वास्तव में बीमार नहीं हैं. यह बीजेपी की रणनीति है और इससे पता चलता है कि बीजेपी लोकतंत्र को खत्म करने और स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव न कराने के लिए किसी भी स्तर तक गिर सकती है. वहीं चुनाव कराने को लेकर आप-कांग्रेस गठबंधन ने पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट का भी दरवाजा खटखटाया है. कोर्ट में 23 जनवरी को सुनवाई है.
गठबंधन के मुताबिक, आप मेयर की सीट के लिए, जबकि कांग्रेस सीनियर डिप्टी मेयर और डिप्टी मेयर पद के लिए चुनाव लड़ेगी. गुप्त मतदान के लिए बैठक सुबह 11 बजे नगर निगम के सभा कक्ष में होनी थी. 35 सदस्यीय चंडीगढ़ नगर निगम में बीजेपी के 14, आप के 13 और कांग्रेस के सात पार्षद हैं. सदन में शिरोमणि अकाली दल का एक पार्षद है. उपायुक्त विनय प्रताप सिंह ने पार्षद मसीह को पीठासीन प्राधिकारी के रूप में नामित किया था और वह स्थापित नियमों और प्रक्रियाओं का पालन करते हुए मेयर के चुनाव के लिए 6 फरवरी की बैठक की अध्यक्षता करेंगे.
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