Chandigarh MC Results 2021: क्या दिल्ली की तरह चंडीगढ़ में भी साथ आएंगे आप और कांग्रेस या बीजेपी का साथ लेगी आप?
Chandigarh MC Results 2021: चंडीगढ़ नगर निगम की 35 सीटों के लिए हुए चुनाव में आम आदमी पार्टी ने 14, बीजेपी ने 12 और कांग्रेस ने 8 सीटें जीती हैं. अपना मेयर बनाने के लिए 18 सीटें चाहिए.
चंडीगढ़ नगर निगम चुनाव के नतीजे आ चुके हैं. आम आदमी पार्टी 14 सीटें जीतकर सबसे बड़ी पार्टी बन गई है. वहीं पिछले चुनाव में 20 सीटें जीतने वाली बीजेपी को केवल 12 सीटें मिली हैं. कांग्रेस के खाते में 8 और अकाली दल को 1 सीट मिली है. चंडीगढ़ के निवर्तमान मेयर को हार का सामना करना पड़ा है. इस तरह चंडीगढ़ की जनता ने 35 सीटों वाले नगर निगम के किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं दिया है. चंडीगढ़ में अब जोड़-तोड़ की राजनीति होगी.
केजरीवाल मॉडल की जीत
आप के वरिष्ठ नेता राघव चड्ढा ने इस जीत को केजरीवाल मॉडल शासन की जीत बताया है. आम आदमी पार्टी पहली बार चंडीगढ़ नगर निगम का चुनाव लड़ रही थी. उनके पहली बार में ही शानदार प्रदर्शन किया है. उसने 14 सीटों पर कब्जा जमाया है.
चंडीगढ़ नगर निगम में आम आदमी पार्टी की ये जीत पंजाब में आने वाले बदलाव का संकेत है।चंडीगढ़ के लोगों ने आज भ्रष्ट राजनीति को नकारते हुए AAP की ईमानदार राजनीति को चुना है।
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) December 27, 2021
AAP के सभी विजयी उम्मीदवारों एवं सभी कार्यकर्ताओं को बहुत-बहुत बधाई।
इस बार पंजाब बदलाव के लिए तैयार है।
चंडीगढ़ नगर निगम चुनाव में किसी को बहुमत न मिलने की दशा में अब इस बात की चर्चा जोर पकड़ रही है कि मेयर के चुनाव में आप को समर्थन कौन करेगा. अपना मेयर बनाने के लिए आप को 4 और पार्षदों के समर्थन की जरूरत पड़ेगी. लेकिन सवाल यह है कि यह समर्थन उसे 12 सीटें जीतने वाली बीजेपी करेगी या 8 सीटें जीतने वाली कांग्रेस.
आम आदमी पार्टी ने जब दिल्ली में पहली बार सरकार बनाई थी तो उसे कांग्रेस ने समर्थन दिया था. लेकिन यह समर्थन ऐसा था, जिसे आप ने मांगा नहीं था. लेकिन कांग्रेस ने दे दिया था. हालांकि अरविंद केजरीवाल की पहली सरकार ज्यादा दिन नहीं चल पाई थी. अरविंद केजरीवाल के इस्तीफे के बाद हुए चुनाव में आप ने ऐतिहासिक प्रदर्शन करते हुए दिल्ली की 70 में से 67 सीटें जीत ली थीं. इस तरह दूसरी बार उसे किसी दल के समर्थन की जरूरत नहीं पड़ेगी.
राज्य के चुनावों का असर पर पड़ेगा आप पर
चंडीगढ़ चुनाव का महत्व इसलिए भी बढ़ जाता है कि अगले साल पंजाब में भी चुनाव होने हैं. वहां आप का मुख्य मुकाबला कांग्रेस से ही है, जिसकी अभी प्रदेश में सरकार है. आप अगर कांग्रेस से समर्थन लेकर मेयर चुनाव में उतरती है तो इसका असर पंजाब चुनाव में हो सकता है. इसलिए आप सीधे-सीधे कांग्रेस से समर्थन लेने से बचना चाहे.
वहीं रही बीजेपी की बात को आप के नेता जगह-जगह बीजेपी की सरकारों का विरोध करते रहे हैं. पंजाब के साथ ही उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के चुनाव होने हैं.दोनों ही राज्यों में आप मजबूती से चुनाव लड़ने की कोशिश में है और दोनों ही राज्यों में बीजेपी की सरकार है. ऐसे में सवाल यह है कि क्या इन 3 राज्यों के चुनाव को ध्यान में रखते हुए आम आदमी पार्टी चंडीगढ़ में अपना मेयर बनवाने के लिए किसका समर्थन लेगी कांग्रेस का या बीजेपी.