Nuh Violence: नूंह के गांवों में एंट्री से रोका तो दीपेंद्र हुड्डा बोले- 'अगर उस दिन इतनी फोर्स लगाई होती तो...'
Nuh-Mewat Violence: नूंह में हुई हिंसा के बाद कांग्रेस का प्रतिनिधिमंडल उन गांवों के दौरे पर निकला जहां पर हिंसक घटना हुई थी. हालांकि इस प्रतिनिधिमंडल को हिंसा पीड़ित गांवों में जाने से रोक दिया गया.
Haryana News: हरियाणा के नूंह (Nuh) का दौरा करने जा रहे कांग्रेस (Congress) की प्रदेश इकाई के 10 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को पुलिस ने जिले के हिंसा प्रभावित गांवों में प्रवेश करने से रोक दिया. पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि प्रतिनिधिमंडल को कर्फ्यू (Curfue) लागू होने और उनके लिए सुरक्षा चिंताओं को देखते हुए रोजका मेव गांव में रोक दिया गया. यह गांव सांप्रदायिक हिंसा से प्रभावित था. इसके बाद प्रतिनिधिमंडल लौट आया.
राज्यसभा सदस्य दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि वे नूंह शहर में प्रभावित लोगों की समस्याएं सुनना चाहते थे और शांति का संदेश देना चाहते थे. हुड्डा ने कहा, “आज हमें रोकने के लिए जितनी भारी फोर्स तैनात की गई है, अगर उस दिन भी तैनात की गई होती तो दोनों समुदायों के बीच झड़प नहीं होती. इस पूरे मामले के लिए पूरी तरह से सरकार जिम्मेदार है. जाहिर है सरकार लापरवाह थी और उनकी मंशा ठीक नहीं थी.”
पीड़ितों से मिलने निकले थे कांग्रेस के ये नेता
दीपेंद्र हुड्डा ने कहा, “प्रतिनिधिमंडल का उद्देश्य नूंह शहर के व्यापारियों और अन्य प्रभावित लोगों से मिलना और उनकी समस्याएं सुनकर शांति का संदेश देना था. हम नलहर में शिव मंदिर भी देखना चाहते थे.” प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष चौधरी उदयभान ने किया. प्रतिनिधिमंडल में दीपेंद्र सिंह हुड्डा, कैप्टन अजय सिंह यादव, महेंद्र प्रताप, बीबी बत्रा, बजरंग दास गर्ग, राव दान सिंह, पंकज डावर और जितेंद्र भारद्वाज भी शामिल थे.
विफलता पर सरकार को नहीं शर्म- अजय यादव
हुड्डा ने कहा कि हिंसा में मारे गए गार्डों को शहीद का दर्जा मिले और मृतक के परिवार को सहयाता राशि और एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाए. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कैप्टन अजय सिंह यादव ने हरियाणा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, “हरियाणा सरकार को अपनी विफलता पर शर्म भी नहीं है. हमारा प्रतिनिधिमंडल शांति बहाल करने के उद्देश्य से नूंह जाना चाहता था. इस समय राजनीति का कोई मतलब नहीं है.” पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष चौधरी उदयभान ने कहा कि वे कांग्रेस आलाकमान को सूचित करेंगे कि उन्हें नूंह के प्रभावित हिस्सों का दौरा करने से रोका गया है.
दिन के वक्त कर्फ्यू में दी गई थी ढील
नूंह के पुलिस अधीक्षक नरेंद्र बिजारनिया ने कहा, “जिले में धारा 144 लागू होने के कारण अनुमति नहीं दी गई है. प्रशासन पीड़ितों की मदद के लिए हरसंभव प्रयास कर रहा है. राजनीतिक दौरा होगा तो प्रशासन का काम बढ़ेगा.” बिजारनिया ने कहा, “स्थिति पूरी तरह सामान्य होने की ओर बढ़ रही है. किसी भी अन्य व्यवधान को रोकने के लिए, हम उनसे स्थिति पूरी तरह सामान्य होने के बाद अपनी यात्रा करने का अनुरोध कर रहे हैं.” जिला मजिस्ट्रेट के अनुसार, नूंह में दिन के दौरान कर्फ्यू में चार घंटे की ढील दी गई.
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