Punjab News: विधानसभा चुनाव से पहले आंतरिक कलह से परेशान पंजाब कांग्रेस कमेटी एक अहम फैसला लेने पर विचार कर रही है. पंजाब कांग्रेस की ओर से विपक्षी पार्टी के दिग्गज नेताओं के खिलाफ अपने बड़े नेताओं को उतारने की चर्चा तेज है. कांग्रेस के एक नेता ने दावा किया है कि पार्टी का केंद्रीय नेतृत्व चाहता है विधानसभा चुनाव में पार्टी के बड़े नेता विरोधी दिग्गजों के खिलाफ मैदान में उतरे.


2022 के विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस पार्टी एग्रेसिव कैंपेन डिजाइन करने पर विचार कर रही है. अंग्रेजी अखबार द ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक बड़े नेताओं का विरोधी दिग्गजों के खिलाफ उतरना कांग्रेस को बढ़त दिला सकता है. 


कांग्रेस के एक नेता ने कहा, ''हम कुछ हटकर करना होगा. जो सर्वे सामने आ रहे हैं वो पार्टी के लिए अच्छी खबर नहीं ला रहे हैं. इसलिए सुखबीर सिंह बादल और बिक्रम मजेठिया के खिलाफ बड़े नेताओं को मैदान में उतारना बुरा आईडिया नहीं है. ऐसा करने से विरोधी दलों के दिग्गज अपनी सीटों पर उलझे रहेंगे और पूरे राज्य में जाकर प्रचार नहीं कर पाएंगे.''


2014 में भी चला था कांग्रेस ने ऐसा दांव


कांग्रेस पार्टी इस तरह का दांव 2014 के लोकसभा चुनाव में भी चल चुकी है. कांग्रेस ने 2014 के लोकसभा चुनाव में कैप्टन अमरिंदर सिंह, प्रताप सिंह बाजवा, अंबिका सोनी और सुनील जाखड़ को मैदान में उतारा था. कैप्टन अमरिंदर सिंह लोकसभा चुनाव नहीं लड़ना चाहते थे लेकिन वह मोदी लहर के बीच अमृतसर से अरुण जेटली को मात देने में कामयाब रहे.


2014 के मुकाबले में 2022 विधानसभा चुनाव की तस्वीर हालांकि काफी अलग है. लेकिन कांग्रेस पार्टी की ओर से संकेत मिल रहे हैं कि सुखबीर सिंह बादल के खिलाफ चरणजीत चन्नी और बिक्रम मजेठिया के खिलाफ नवजोत सिंह सिद्धू को मैदान में उतारा जा सकता है.


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