Farmer Protest: किसान आंदोलन के खत्म होने के बाद नेशनल हाइवे 44 को खोलने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. दिल्ली पुलिस की ओर से एनएच 44 पर लगे पत्थर के बैरिकेड्स को हटाया जा रहा है. नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने जानकारी दी है कि 16 दिसंबर से एनएच 44 को पूरी तरह से शुरू किया जा सकता है.


नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया की टीम और दिल्ली पुलिस मिलकर एनएच 44 को साफ करने की प्रक्रिया में जुटी हुई है. आंदोलन के दौरान सिंघु बॉर्डर पर करीब 6 किलोमीटर की दूरी तक किसानों ने पक्के मोर्चे लगाए थे. नेशनल हाइवे अथॉरिटी की टीम अब पक्के मोर्चों को पूरी तरह से साफ कर रही है.


किसान आंदोलन की अगुवाई कर रहे संयुक्त किसान मोर्चा की ओर से 11 दिसंबर को आंदोलन को खत्म करने का एलान किया गया था. 11 दिसंबर को ही किसान आंदोलन में शामिल रहे अधिकतर लोगों ने घर वापस जाना शुरू कर दिया था. हालांकि कुछ मोर्चे सोमवार तक सिंघु बॉर्डर पर डटे हुए थे. सोमवार को किसानों की ओर से सिंघु बॉर्डर को पूरी तरह से खाली कर दिया गया.


सिंघु बॉर्डर पर इसलिए लगे थे पक्के मोर्चे


शहीद भगत सिंह यूथ बिग्रेड की ओर से जानकारी दी गई कि सिंघु बॉर्डर पर मौजूद किसानों की मुख्य स्टेज को हटाने के लिए तीन दिन से काम जारी है. इसके अलावा डीजीएम ने बताया है कि सिंघु बॉर्डर पर मौजूद पत्थर के बैरिकेड्स को लगभग पूरी तरह से हटा लिया गया है.


बता दें कि केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के फैसले के खिलाफ किसानों ने पिछले साल आंदोलन शुरू किया था. किसानों को जब दिल्ली जाने की इजाजत नहीं मिली तो उन्होंने सिंघु बॉर्डर पर ही पक्के मोर्चे लगा लिए थे.


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