Haryana News: हरियाणा के गुरुग्राम में श्री दुर्गा रामलीला के चौथे दिन विवाह की चिट्ठी राजा जनक की ओर से अयोध्या में राजा दशरथ के पास भेजी गई. जिसके बाद राजा दशरथ अपने दोनों राजकुमारों भरत व शत्रुघ्न को लेकर जनकपुरी पहुंचे. रामलीला मैदान से कबीर भवन चौक, पुराना रेलवे रोड, सदर बाजार, कृष्ण मंदिर से होते हुए बारात रामलीला मैदान में पहुंची. राम-लक्ष्मण पहले से ही गुरू वशिष्ठ के साथ जनकपुरी में मौजूद थे. चारों राजकुमारों की विवाह राजा जनक की चारों पुत्रियों के साथ कराया गया.
रामलीला मंच पर ही फेरों की रस्म अदा की गई. हाथ पीले करने की रस्म रामलीला कमेटी ट्रस्ट के प्रधान कपिल सलूजा व उनकी पत्नी नीतू सलूजा ने पूर्ण की. विदाई के समय अपनी पुत्रियों को सदा सुखी रहने का आशीर्वाद देते हुए राजा जनक बहुत ही भावुक हो गए. इस अवसर पर श्री दुर्गा रामलीला कार्यक्रम में महामंडलेश्वर आत्म चेतना गिरी, समाजसेवी नरेश दुआ, दीपक दुआ, कपिल सलूजा, विकास मेहता, विरेंद्र डुडेजा, आशीष गुप्ता, भारत अरोड़ा, सुनील कुमार जैन, रजनीश पाहुजा, अमरनाथ सैनी ने अतिथि के रूप में मौजूद रहे.
राजा जनक नहीं रोक पाये अश्रुधारा
चारों राजकुमारों का विवाह राजा जनक की चारों पुत्रियों के साथ संपन्न होने के बाद विदेह राज द्वारा भावुकता भरे गीत गाए. इसके बाद राजा जनक ने अपनी पुत्रियों को विदा किया. विशेषकर सीता को विदा करते हुए राजा जनक अश्रुधारा नहीं रोक पाए.
जो रामलीला में नहीं आए उन्होंने ऑनलाइन देखी रामलीला
श्री दुर्गा राम लीला के प्रवक्ता राज सैनी बिसरवाल ने बताया कि सीता जी की बहनों संग जनक पुरी से विदाई हुई. विदाई के समय माहौल पूरा भावुक हो गया. जहां हरियाणवी विदाई गीत भी गाए गए. महिलाओं और पुरुषों की आंखों में आंसु तक गए. बारिश के कारण अधिक लोग रामलीला मैदान में नहीं आ पाए, लेकिन उन्होंने ऑनलाइन माध्यम से रामलीला का सीधा प्रसारण अपने घर से ही देखा. रामलीला के चौथे दिन राजा जनक की भूमिका में अशोक सौदा, सुनैना बने सुमित नेमके, सीता बने कुणाल गुप्ता, सीता की सखी बने आशु एंड पार्टी, दशरथ बने सुरेश सहरावत, राम बने करण बख्शी, लक्ष्मण समीर तंवर, शत्रुघ्न फर्ज जलिंद्रा, सुमंत खुशाल वर्मा, गुरू वशिष्ठ सुभाष नागपाल, विष्णु गोविंद सिवाग और अमित सैनी ने शंकर की भूमिका निभाई.
(राजेश यादव की रिपोर्ट)