Haryana: हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर (Manohar Lal Khattar) ने मंगलवार को विधानसभा को सूचित किया कि निर्वाचित प्रतिनिधि होने के नाते विधायक किसी भी अधिकारी से अपने क्षेत्र में विकास परियोजनाओं के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं. हालांकि, विधायकों के पास कार्यकारी शक्तियां नहीं हैं, इसलिए वे आधिकारिक तौर पर अधिकारियों की बैठक नहीं बुला सकते हैं.
मुख्यमंत्री ने मुख्य सचिव कार्यालय की ओर से 25 अगस्त को जारी एक पत्र के संबंध में चल रहे शीतकालीन सत्र के शून्यकाल के दौरान कांग्रेस सदस्य बी.बी. बत्रा की तरफ से उठाए गए एक सवाल का जवाब देते हुए यह बात कही. राज्य में बेरोजगारी पर एक अन्य प्रश्न का उत्तर देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि आवधिक श्रम बल सर्वेक्षण रिपोर्ट के अनुसार, जुलाई-सितंबर 2023 के दौरान राज्य में बेरोजगारी दर 5.2 प्रतिशत थी, जबकि राष्ट्रीय आंकड़े 6.6 प्रतिशत थे. सीएम खट्टर ने कहा कि इस दौरान हिमाचल प्रदेश में बेरोजगारी दर 14.5 फीसदी, पंजाब में 8.8 फीसदी, जबकि राजस्थान में 12 फीसदी रही. खट्टर ने कहा कि यह खुशी की बात है कि उनकी सरकार राज्य की बेरोजगारी दर को कम करने में सफल रही है.
सीएम खट्टर ने कांग्रेस पर साधा निशाना
इसके अलावा सीएम खट्टर ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि विपक्षी पार्टी के कार्यकाल के दौरान अनुसूचित जाति (एससी) समुदायों के सदस्यों के खिलाफ अत्याचार के मामले या तो दर्ज ही नहीं किए गए और यदि दर्ज किए गए तो उन्हें दबा दिया गया. खट्टर ने कहा कि इस प्रकार के अत्याचारों के पीड़ितों को मामले दर्ज कराने के लिए दर-दर भटकना पड़ता था. उन्होंने कहा कि 2014 में हरियाणा में बीजेपी के सत्ता में आने के बाद पुलिस थानों को सख्त निर्देश जारी किए गए थे, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि प्राथमिकी दर्ज कराने का इच्छुक कोई भी व्यक्ति बिना बाधा के ऐसा करा सके.
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