Haryana News: हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने सरकारी परियोजनाओं के लिए भूस्वामियों की सहमति से जमीन खरीद को अधिक सुगम बनाने के लिए बुधवार को नया 'ई-भूमि' पोर्टल पेश किया. सीएम खट्टर ने कहा कि सरकार का लक्ष्य जमीन खरीद की प्रक्रिया को भूस्वामियों की मर्जी से पारदर्शी तरीके से पूरा करना है. उन्होंने कहा कि किसानों के अलावा एग्रीगेटर भी अपनी जमीन की पेशकश इस पोर्टल पर कर सकेंगे. एग्रीगेटर को आयकरदाता होने के साथ उसके पास परिवार पहचान पत्र (PPP) होना भी जरूरी है. उन्होंने कहा कि नए पोर्टल पर की गई जमीन की पेशकश छह महीने तक मान्य होगी.


‘जिला स्तर पर नोडल अधिकारी चिह्नित’


सीएम खट्टर ने  बताया कि इस पूरी प्रक्रिया को सुविधाजनक बनाने और समन्वय करने के लिए प्रत्येक विभाग और जिला स्तर पर नोडल अधिकारियों को चिह्नित कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि सरकारी परियोजनाओं के लिए जमीन खरीद की पूरी प्रक्रिया को तीन महीने से लेकर छह महीनों में पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. सीएम खट्टर ने कहा कि पहले प्रॉपर्टी डीलर्स एंड कंसल्टेंट्स एक्ट, 2008 के प्रावधान के तहत एक एग्रीगेटर को प्रॉपर्टी डीलर के रूप में पंजीकृत किया होना जरूरी किया गया था, लेकिन अब इस शर्त की अनिवार्यता को हटा दिया गया है.


‘एग्रीगेटर्स को मिलेगी प्रोत्साहन राशि’


मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि विभिन्न परियोजनाओं के लिए भूमि की खरीद के मामले में एग्रीगेटर्स को 1 प्रतिशत की दर से प्रोत्साहन राशि दिए जाने का प्रावधान रखा गया है. यहीं भले ही खरीद न हो, तो भी एग्रीगेटर्स को 1,000 से 3,000 रुपये प्रति एकड़ तक प्रोत्साहन राशि दी जाएगी. इसके लिए शर्त ये है कि कुल इंडेंटेड भूमि की कम से कम 70 प्रतिशत की सहमति लानी होगी. उन्होंने कहा कि ऐसी उम्मीद है कि पूरी प्रक्रिया 3 से 6 महीने की समय सीमा के अंदर पूरी हो जाएगी.


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