Haryana News: हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने दावा किया है कि उनकी सरकार पर कोई संकट नहीं है और मजबूती से काम कर रही है. उनका ये बयान ऐसे समय में आया है जब मंगलवार (7 मई) को 3 निर्दलीय विधायकों ने उनकी सरकार से समर्थन वापस ले लिया.


दादरी से निर्दलीय विधायक सोमबीर सांगवान, पुंडरी से रणधीर सिंह गोलन और नीलोखेड़ी से धर्मपाल गोंद ने बीजेपी सरकार से समर्थन वापस ले लिया. साथ ही घोषणा की कि वे कांग्रेस का समर्थन करेंगे. इन विधायकों के फैसले से हरियाणा विधानसभा में सैनी सरकार अल्पमत में आ गई.


सीएम का कांग्रेस पर वार


सिरसा लोकसभा सीट से बीजेपी उम्मीदवार अशोक तंवर के लिए प्रचार करने पहुंचे सैनी ने कहा, ''हमारी सरकार अल्पमत में नहीं है. देश के लोगों का जनविश्वास कांग्रेस के साथ नहीं है.''


मनोहर लाल खट्टर क्या बोले?


वहीं पूर्व मुख्यमंत्री और करनाल लोकसभा सीट से उम्मीदवार मनोहर लाल खट्टर ने कहा, "वे निर्दलीय हैं, हम क्या कर सकते हैं. ये (कांग्रेस) अपनों को संभाल कर रखें. जिस दिन हिसाब खुल गया उस दिन इनको समझ में आएगा कि हमारे संपर्क में कितने हैं.''


खट्टर ने कहा कि अगर अविश्वास प्रस्ताव भी लाएंगे तो वे (कांग्रेस) ही गिरेंगे. उनके और बाकी दलों के कितने लोग हमारे साथ खड़े होंगे ये उन्हें नहीं पता हमें पता है.


हरियाणा की 90 सदस्यीय विधानसभा में सदस्यों की मौजूदा संख्या 88 है. सरकार के पास बहुमत से दो विधायक कम हैं. वर्तमान में बीजेपी सरकार को दो निर्दलीय विधायकों का समर्थन प्राप्त है. 


तीन निर्दलीय विधायकों के ऐलान के बाद कांग्रेस ने हरियाणा में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की है. साथ ही कहा है कि राज्य में चुनाव हो. वहीं जेजेपी के नेता और पूर्व डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने कहा कि मुझे लगता है कि ऐसा सीएम, जो मानता है कि वह कमजोर है, तो नैतिक आधार पर प्रदेश का नेतृत्व करने लायक नहीं है.


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