Haryana News: हरियाणा में बीजेपी-जेजेपी गठबंधन के बीच चल रही तनातनी पर विराम लग जाएगा या फिर दोनों पार्टियों के रास्ते अलग-अलग हो जाएंगे इसका फैसला अब जल्द ही होने वाला है. हरियाणा बीजेपी प्रभारी बिप्लब देब निर्दलीय विधायकों की मुलाकात जारी है. पृथला के निर्दलीय विधायक नयनपाल रावत ने भी बिप्लब देब से मुलाकात की है. लगातार निर्दलीयों के मिल रहे साथ अब क्या बीजेपी जेजेपी से अपना नाता तोड़ लेगी इसको लेकर फैसला अब गृहमंत्री अमित शाह की सिरसा रैली में हो सकता है. शाह की रैली पर बीजेपी से ज्यादा जेजेपी की नजरें टिकी हुई है. 


पार्टी में मंथन का दौर जारी
मीडिया रिपोर्टस की माने तो जेजेपी से गठबंधन टूटने के बाद सरकार चल पाएगी या नहीं इसको लेकर प्रदेश बीजेपी में मंथन जारी है. पृथला से निर्दलीय विधायक नयनपाल रावत ने बिप्लब देब से मुलाकात के बाद कहा कि वो सीएम मनोहर लाल खट्टर के साथ है. उन्होंने कहा कि जेजेपी कोटे के मंत्रियों को जो विभाग दिए गए है, उनमें सबसे ज्यादा भ्रष्टाचार है. जिसका नुकसान बीजेपी को भी झेलना पड़ रहा है. विधायक नयनपाल रावत से पहले निर्दलीय विधायक धरमपाल गोंदर, राकेश दौलताबाद, रणधीर सिंह, सोमवीर सांगवान और हलोपा प्रमुख विधायक गोपाल कांडा भी बिप्लब देब से मुलाकात कर बीजेपी को समर्थन देने की बात कह चुके है.


शाह कर सकते है गठबंधन पर फैसला!
आपको बता दें कि फिलहाल बीजेपी के पास 41 विधायक है, अगर वो जेजेपी से अलग होती है तो उन्हें सरकार में रहने के लिए 5 और विधायकों की जरूरत है. जबकि 5 निर्दलीय विधायकों समेत हलोपा प्रमुख विधायक गोपाल कांडा भी बीजेपी को समर्थन देने की इच्छा जता चुके है. ऐसे में बीजेपी इस असमंजस में है कि क्या निर्दलीय विधायक सरकार में साथ अच्छे से निभा पाएंगे. वहीं अगर बीजेपी जेजेपी से गठबंधन तोड़ती है तो इसका असर हरियाणा के अलावा दूसरे राज्यों पर भी दिखाई देगा. ऐसे में अब माना जा रहा है कि गृह मंत्री अमित शाह ने बीजेपी-जेजेपी के गठबंधन की नींव रखी थी अब वो ही गठबंधन को लेकर कोई बड़ा फैसला ले सकते है. 


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