Punjab News: असम की डिब्रूगढ़ जेल में बंद वारिस पंजाब दे के प्रमुख अमृतपाल सिंह और उसके सहयोगियों से गुरुवार को परिवार के सद्स्यों ने मुलाकात की. ‘एबीपी सांझा’ की खबर के अनुसार इस दौरान अमृतपाल ने परिवार के सदस्यों के माध्यम से संदेश भेजा है कि वो चढ़दी कला में है, साथ ही अमृतपाल समेत उसके सहयोगियों के परिवार इस बात से संतुष्ट हैं कि जेल के अंदर उनके साथ अमानवीय व्यवहार नहीं किया जा रहा है. आपकों बता दें कि अमृतपाल समेत उसके 10 सहयोगियों को राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) के तहत असम की डिब्रूगढ़ जेल भेजा गया है. 


SGPC सदस्यों ने भी मुलाकात
शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के कानूनी सलाहकार भगवंत सिंह सियालका, सिमरनजीत सिंह और अन्य सदस्य भी अमृतपाल और उसके सहयोगियों से मिलने डिब्रूगढ़ जेल गए थे. इस दौरान भगवंत सिंह सियालका ने कहा कि सभी के दिलों में अपने रिश्तेदारों को लेकर जो भ्रम, भ्रम और डर था, वह दूर हो गया है. उनसे मिलकर उन्हें सुकून मिला है. सिमरनजीत सिंह ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि गिरफ्तार लोगों को राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) के तहत गिरफ्तार किया गया है और उन सभी पर एक जैसे आरोप हैं. उन्होंने कहा कि उनके मामलों से जुड़े दस्तावेज भी एक जैसे हैं, सिमरनजीत सिंह ने कहा, 'गिरफ्तार किए गए लोगों की कोई आपराधिक पृष्ठभूमि नहीं है. यह निश्चित रूप से एक साजिश है, क्योंकि उनके खिलाफ एनएसए का इस्तेमाल करने का कोई कारण नहीं था. उन्होंने कहा कि अमृतपाल नशीले पदार्थों के खिलाफ जागरूकता अभियान के साथ-साथ सिख धर्म का प्रचार भी करता है. 


‘NSA रद्द करवाने का होगा प्रयास’
एसजीपीसी के कानूनी सलाहकार भगवंत सिंह सियालका का कहना है कि अमृतपाल और उसके सहयोगियों से मुलाकात के बाद कहा कि इन सभी के परिवारों के पास एक ही कमाने वाला था और वो अब सलाखों के पीछे है. जिससे इनके परिवारों की आर्थिक स्थिति खराब हो गई है. सियालका ने कहा कि वो नियमों के अनुसार मामले को आगे बढ़ाएंगे. उनका प्रयास रहेगा कि इन सबके ऊपर से राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (NSA) हटवाया जाए. अगर एनएसए को रद्द नहीं किया गया तो वो हाईकोर्ट का रुख करेंगे.


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