Old pension Scheme in Haryana: हरियाणा के चर्चित आईएएस ऑफिसर अशोक खेमका (Ashok Khemka) ने पुरानी पेंशन योजना की मांग उठाकर मनोहर लाल खट्टर(Manohar Lal Khattar) सरकार की परेशानी बढ़ा दी है. खेमका ने बुधवार को ट्वीट कर लिखा कि जीवन की संध्या में कर्मचारियों को बाजार के सहारे छोड़ना, क्या नैतिक है? पेंशन फंड को सुनिश्चित करना चाहिए कि हर कर्मचारी को रिटायरमेंट पर पुरानी पेंशन योजना (Old pension Scheme) के मुताबिक पेंशन मिले.


देश में बना हुआ है राजनीतिक मुद्दा


गौरतलब है कि इन दिनों देश में पुरानी पेंशन योजना एक बड़ा चुनावी मुद्दा बनकर सामने आया है. हिमाचल में कांग्रेस इस मुद्दे के सहारे सत्ता का स्वाद चख चुकी है. इसके साथ ही कांग्रेस शासित राजस्थान, छत्तीसगढ़ और हिमाचल प्रदेश में पुरानी पेंशन योजना लागू की जा चुकी है. इसके अलावा, पंजाब की आप सरकार भी पुरानी पेंशन योजना को लागू कर चुकी है. ऐसे में लोकसभा चुनाव से पहले एक सरकारी अफसर की ओर से आवाज बुलंद करना सरकार के लिए चिंता बढ़ाने वाली है. 



पुरानी पेंशन योजना पर मुखर है कांग्रेस


इस मुद्दे को लेकर जहां बीजेपी बैकफुट पर है. वहीं, कांग्रेस पार्टी इसे चुनावी संजीवनी के तौर पर देख रही है. लिहाजा, पार्टी इस मुद्दे को लेकर काफी मुखर है. राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने इस मुद्दे पर केंद्रीय गृह मंत्री निर्मला सीतारमण के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने वित्त मंत्री को घेरते हुए कहा कि उन्हें इस मुद्दे पर गोलमोल जवाब के बजाय सीधे-सीधे बताना चाहिए कि इस योजना का समर्थन करतीं हैं या विरोध करतीं हैं. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि 30 से 35 वर्ष तक सरकार की सेवा करने के बाद कर्मचारियों को शेयर बाजार के हवाले नहीं छोड़ा जा सकता है. उन्होंने कहा कि बुढ़ापे में अपने कर्मचारियों को सुरक्षा प्रदान करना सरकार की जिम्मेदारी है. उन्होंने कहा कि यह कर्मचारियों पर कोई एहसान नहीं है, यह उनका हक है. 


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