दुष्यंत चौटाला की पार्टी से इस्तीफा देने के बाद ईश्वर सिंह कांग्रेस में शामिल हो गए हैं. शनिवार (17 अगस्त) को उन्होंने जेजेपी से इस्तीफा दिया था. वो गुहला से पिछले विधानसभा चुनाव में जीते थे. इस्तीफे के पीछे उन्होंने निजी कारणों को वजह बताया था. बीते लोकसभा चुनाव के दौरान भी ईश्वर सिंह पार्टी के लिए सक्रिय नहीं दिखे थे. अब उन्होंने कांग्रेस का दामन थाम लिया है. सूत्रों की मानें तो विधानसभा चुनाव में उन्हें कांग्रेस से टिकट मिलना तय माना जा रहा है. 


इससे पहले रविवार (18 अगस्त) को पार्टी के चार विधायकों ने इस्तीफा पर दुष्यंत चौटाला ने कहा कि जो लोग पार्टी छोड़कर गए, वह लोग लोकसभा चुनाव में भी पार्टी से दूरियां बना चुके थे. जब कार्यकाल खत्म हो जाता है तो इस्तीफा देना एक औपचारिकता मात्र जाती है. चौधरी देवीलाल के साथ भी कई ऐसे दौर आए थे. लोग उनके साथ जुड़े और तमाम पदों पर बैठे थे. लेकिन जब संघर्ष का दौर आया तो चौधरी देवीलाल को लोग छोड़ कर चले गए. विधानसभा चुनाव में हमारी पार्टी इतिहास रचने का काम करेगी.


पूर्व सीएम दुष्यंत चौटाला ने कहा कि पार्टी की पीएसी की बैठक होगी. उसके अंदर जो भी साथी इच्छुक हैं, उनके नाम पर चर्चा होगी और तभी उम्मीदवारों के नामों का ऐलान होगा. परिस्थितियां अनुकूल बनेंगी. त्रिशंकु नतीजों में भी जननायक जनता पार्टी की भूमिका मजबूत होगी और प्रदेश का नेतृत्व भी जननायक जनता पार्टी करेगी.


वहीं जेजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ अजय सिंह चौटाला ने रविवार को कहा कि उनकी पार्टी हरियाणा में होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारियों में लगातार जुटी हुई है. चौटाला ने कहा, ‘‘ हम निरंतर जनता के बीच जा रहे हैं और वरिष्ठ नेता कार्यक्रम कर रहे हैं.’’  एक सवाल के जवाब में अजय चौटाला ने कहा कि प्रजातंत्र में किसकी सरकार बनेगी? इसका फैसला जनता के हाथ में ही है और जेजेपी अपनी मेहनत में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेगी.    


जेजेपी के विधायकों के पार्टी छोड़ने के सवाल पर  चौटाला ने कहा,‘‘ चुनावी मौसम में नेताओं का आना-जाना लगा रहता है, यह कोई नयी बात नहीं है.’’   उन्होंने कहा कि देश का राजनीतिक इतिहास रहा है कि प्रधानमंत्री पद के नेता तक ने भी पार्टी छोड़ी है. जेजेपी अध्यक्ष ने कहा कि पार्टी छोड़ने वालों की पार्टी  को परवाह नहीं है क्योंकि जेजेपी संघर्ष करना अच्छे से जानती है. (एजेंसी की इनपुट के साथ)


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