Punjab News: पंजाब के जालंधर में हुए लोकसभा उपचुनाव का रिजल्ट कल यानी 13 अप्रैल को आ जाएगा. रिजल्ट कुछ भी हो, लेकिन इसका असर सभी राजनीतिक पार्टियों पर पड़ना तय है. ऐसे में रिजल्ट को लेकर सभी राजनीतिक पार्टियों की धड़कनें तेज हो गई हैं. अगर बात करें सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी की तो इसपर सबसे बड़ा असर पड़ सकता है, क्योंकि चुनाव के दौरान ही खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री लाल चंद कटारूचक का अश्लील वीडियो सामने आया था. जिसकी राज्यपाल बनवारी लाल पुरोहित ने फॉरेंसिक जांच भी करवा ली है. वहीं इसकी रिपोर्ट भी मुख्यमंत्री भगवंत मान को भेजी जा चुकी है.
बीजेपी को होगा ये फायदा
इसके साथ ही कल ये भी तस्वीर साफ हो जाएगी कि क्या बीजेपी और शिरोमणि अकाली दल का पुनः गठबंधन हो सकता है? दरअसल, बीजेपी के साथ गठबंधन तोड़ने और लगातार दो विधानसभा और एक लोकसभा का उप चुनाव हारने के बाद, शिरोमणि अकाली दल का राजनीतिक ग्राफ तेजी से नीचे गिरा है. वहीं पहली बार जालंधर लोकसभा का चुनाव लड़ रही बीजेपी के लिए भी चुनाव परिणाम बेहद महत्वपूर्ण हैं. क्योंकि शिअद के साथ गठबंधन में रहते हुए बीजेपी हमेशा ही जालंधर शहरी की तीन सीटों पर ही चुनाव लड़ती थी. 2022 में जरूर बीजेपी ने अपना दायरा बढ़ाया, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में बीजेपी को कोई खास मत नहीं पड़े. ऐसे में उप चुनाव के जरिये बीजेपी ने गांव क्षेत्रों में अपना आधार बनाने पर जोर दिया हैं ताकि 2024 में पार्टी अपने दम पर खड़ी हो सके.
चतुष्कोणीय रहा चुनावी मुकाबला
बता दें कि, कांग्रेस पार्टी का गढ़ मानी जाने वाली जालंधर लोकसभा सीट के लिए हुए उपचुनाव में आप, कांग्रेस, शिरोमणि अकाली दल और बीजेपी के बीच चतुष्कोणीय चुनावी मुकाबला रहा है. दलित बहुल सीट पर चारों राजनीतिक दल एक दूसरे के साथ हाथ आजमाने के लिये मैदान में थे, तो ऐसे में कल रिजल्ट आने के बाद पता चलेगा कि कौन जालंधर का सिकंदर बनेगा. दरअसल, कांग्रेस सांसद संतोख सिंह चौधरी की जनवरी में पार्टी की 'भारत जोड़ो यात्रा' के दौरान दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई थी और उसी के चलते इस सीट पर उपचुनाव कराया गया है.
कहां से पड़े कितने वोट?
इस सीट के लिए चुनाव मैदान में 19 उम्मीदवार हैं, जिनमें आप के सुशील रिंकू, कांग्रेस की करमजीत कौर चौधरी, भारतीय जनता पार्टी के इंदर इकबाल सिंह अटवाल और शिरोमणि अकाली दल (शिअद) के सुखविंदर कुमार सुखी शामिल हैं. वहीं जालंधर लोकसभा सीट के शाहकोट में सबसे ज्यादा 58.23 फीसदी मतदान हुआ. इसके बाद करतारपुर में 57.97 प्रतिशत, जालंधर पश्चिम में 56.49 फीसदी, नकोदर में 55.89 प्रतिशत, फिल्लौर में 55.81 फीसदी, जालंधर उत्तर में 54.43 प्रतिशत, आदमपुर में 54.02 फीसदी, जालंधर कैंट में 50.19 प्रतिशत और जालंधर सेंट्रल में 48.94 फीसदी वोट पड़े थे.