Haryana News: लोकसभा चुनाव से पहले भारतीय जनता पार्टी (BJP) को बड़ा झटका लगा है. हरियाणा से बीजेपी के लोकसभा सांसद बृजेंद्र सिंह (Brijendra Singh) ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया. इसके बाद वह कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से मिले और कांग्रेस ज्वाइन कर लिया. इस बीच बृजेंद्र सिंह ने बताया कि क्यों उन्होंने बीजेपी का साथ छोड़ा.
बृजेंद्र सिंह ने मीडिया के सवालों का जवाब देते हुए कहा कि '2 अक्टूबर को जींद की रैली में एक मुद्दा उठाया गया था और हरियाणा में बीजेपी-जेजेपी के गठबंधन को लेकर एक फैसला लिया गया था. वह भी मेरे बीजेपी छोड़ने का एक कारण है.'
सोशल मीडिया पर दी इस्तीफे की जानकारी
दरअसल आज सोशल मीडिया पर अपने इस्तीफे की जानकारी दी. बृजेंद्र सिंह अपने अकाउंट एक्स पर पोस्ट कर लिखा कि 'कुछ राजनीतिक कारणों की वजह से मैंने बीजेपी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है. हिसार से लोकसभा सांसद बनाकर जनता की सेवा का मौका देने के लिए मैं बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह को धन्यवाद देता हूं.'
कांग्रेस से पुराना रिश्ता
बृजेंद्र सिंह पूर्व केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह के बेटे हैं और उनके परिवार का कांग्रेस से पुराना रिश्ता रहा है. बता दें कि कुलदीप बिश्नोई के बीजेपी में शामिल होने के बाद से लगातार बृजेंद्र सिंह का टिकट कटने का खतरा बना हुआ था. इसके अलावा जेजेपी गठबंधन की वजह से भी बृजेंद्र सिंह बीजेपी से नाराज चल रहे थे.
कौन हैं बृजेंद्र सिंह?
2019 के लोकसभा चुनावों में उन्होंने दुष्यंत चौटाला और भव्य बिश्नोई को हराकर हिसार से जीत हासिल की थी. वह पूर्व नौकरशाह प्रसिद्ध किसान नेता छोटू राम के परपोते हैं. उनके पिता बीरेंद्र सिंह ने केंद्रीय मंत्री के रूप में कार्य किया था और उनकी मां प्रेमलता सिंह ने उचाना विधानसभा सीट का प्रतिनिधित्व किया था.
बृजेंद्र सिंह लोक लेखा समिति और रक्षा संबंधी स्थायी समिति के सदस्य भी हैं. वह एक पूर्व भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अधिकारी हैं, उन्होंने 21 सालों तक देश की सेवा करने के बाद स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति ली थी. 1998 में उन्होंने सिविल सेवा परीक्षा में 9वीं रैंक हासिल की थी. बृजेंद्र सिंह ने जेनयू से मॉडर्न हिस्ट्री में एमए किया है. वह हरियाणा के जींद के मूल निवासी हैं.