(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Operation Blue Star Anniversary: अमृतसर में हाई अलर्ट, पैरामिलिट्री फोर्स की भी तैनाती, DCP बोले- 'कोई कुछ भी गलत करेगा तो...'
Amritsar News: ऑपरेशन ब्लूस्टार की 39वीं बरसी को लेकर पूरे पंजाब भर में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. प्रदेश के सभी जिलों में पुलिस जिलों फ्लैग मार्च भी कर रही है.
Punjab News: ऑपरेशन ब्लू स्टार की 39वीं बरसी पर आज अमृतसर में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. अमृतसर के डीसीपी जे.एस वालिया ने बताया कि हर तरफ पैरामिलिट्री फोर्स व पुलिस बल तैनात है. स्थिति बिल्कुल शांतिपूर्ण है. शहर में कोई भी कुछ गलत करने की कोशिश करेगा तो उसके खिलाफ सख्ती से कानूनी कार्रवाई की जाएगी. ऑपरेशन ब्लू स्टार की बरसी को ध्यान में रखते हुए, पंजाब पुलिस ने राज्य भर में कड़ी सुरक्षा कर रखी है. वहीं पुलिस टीमे सभी 28 पुलिस जिलों फ्लैग मार्च भी कर रही है.
1984 में हुआ था ऑपरेशन ब्लू स्टार
ऑपरेशन ब्लू स्टार 1 और 8 जून, 1984 के बीच किया गया था. इसमें कई लोगों की जान चली गई थी. धर्मस्थल और परिसर क्षतिग्रस्त हो गया था. ऑपरेशन ब्लू स्टार अमृतसर के स्वर्ण मंदिर परिसर में छिपे जरनैल सिंह भिंडरावाले के नेतृत्व वाले उग्रवादियों को बाहर निकालने के लिए दिवंगत प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के आदेश पर एक सैन्य कार्रवाई थी.
अकाल तख्त ने SGPC को दिया निर्देश
ऑपरेशन ब्लू स्टार की 39वीं बरसी को लेकर अकाल तख्त ने एसजीपीसी को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि ऑपरेशन ब्लू स्टार की वर्षगांठ के दौरान स्वर्ण मंदिर की पवित्रता भंग न हो. अकाल तख्त के कार्यवाहक जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह के निजी सहायक जसपाल सिंह ने एसजीपीसी के सचिव को लिखा है कि स्वर्ण मंदिर की पवित्रता को ध्यान में रखते हुए तत्कालीन जत्थेदार ज्ञानी जोगिंदर सिंह के हस्ताक्षर से पारित प्रस्ताव को अकाल तख्त के निर्देशानुसार पूरी तरह लागू किया जाए.
ऑपरेशन के दस्तावेज सार्वजनिक करने की मांग
आप के पंजाब से सांसद विक्रमजीत सिंह साहनी ने मांग की है कि 'ऑपरेशन ब्लू स्टार' से जुड़े सभी सरकारी दस्तावेजों को सार्वजनिक किया जाए. प्रधानमंत्री कार्यालय और केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेजे मैसेज में साहनी ने उनसे आग्रह किया कि फाइलों को सुलभ बनाया जाना चाहिए. 'ऑपरेशन ब्लू स्टार' को हजारों लोगों की नृशंस हत्या और हरमंदिर साहिब और सिख धर्म के सर्वोच्च स्थान अकाल तख्त साहिब में पवित्र गर्भगृह पर तोड़फोड़ के साथ मानव अधिकारों का घोर उल्लंघन बताते हुए साहनी ने एक बयान में कहा कि संग्रहालय और स्वर्ण मंदिर के तोशाखाना को नष्ट किए जाने से हमारे वंश और इतिहास से संबंधित बहुमूल्य ग्रंथों और अभिलेखों का नुकसान हुआ है. साहनी ने कहा कि इस जघन्य अपराध के लिए केवल सच्चाई जानना ही न्याय होगा, जिसके लिए यह जरूरी है कि सभी संबंधित दस्तावेजों को सार्वजनिक किया जाए.