पंजाब (Punjab) में कांग्रेस (Congress)का झगड़ा अभी खत्म नहीं हुआ है. जबकि मुख्यमंत्री पद से हटाए जाने के बाद कैप्टन अमरिंदर सिंह (Caption Amrinder Singh )अपनी नई पार्टी भी बना ली है. लेकिन पंजाब कांग्रेस के प्रमुख नवजोत सिंह सिद्धू की नाराजगी अभी तक कम नहीं हुई है. मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी से उनकी नूराकुश्ती जारी है. इसे देखकर नवजोत सिंह सिद्धू आम आदमी पार्टी (AAM ADAMI PARTY)को पसंद आने लगे हैं. आप के स्थानीय नेता ही नहीं बल्कि पंजाब प्रभारी राघव चड्ढा और पार्टी प्रमुख अरविंद केजरीवाल (Arvind kejariwal) तक उनकी तारीफ कर चुके हैं. पंजाब में अगले साल चुनाव होने हैं. 


पंजाब में आम आदमी पार्टी की उम्मीदें क्या हैं?


पिछले चुनाव में आप ने पंजाब विधानसभा चुनाव में 20 सीटें जीती थीं. कांग्रेस की लड़ाई और शिरोमणि अकाली दल-बीजेपी का गठबंधन टूटने के बाद आप को पंजाब में अपना भविष्य नजर आ रहा है. चुनाव के इतने नजदीक आने के बाद भी आप ने अभी तक मुख्यमंत्री पद पर अपना चेहरा घोषित नहीं किया है. लेकिन लगता है कि सिद्धू में आप को अपना भविष्य नजर आ रहा है.  


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अरविंद केजरीवाल सितंबर में पंजाब आए थे. उनसे पत्रकारों ने पूछा कि क्या नवजोत सिंह सिद्धू आप में शामिल होंगे. इस पर उन्होंने कहा था कि इस पर समय आने पर बात की जाएगी. उन्होंने सिद्धू के आप में शामिल होने से इनकार भी नहीं किया था. पिछले दिनों आप नेता राघव चड्ढा ने भी सिद्धू की तारीफ कर दी. वहीं सिद्धू ने अपने ट्वीटर अकाउंट से कुछ ऐसे वीडियो डाले जिसमें आप के नेता उनकी तारीफ कर रहे थे. ये वीडियो सिद्धू की कांग्रेस में छटपटाहट के भी संकेत थे. कैप्टन के जाने के बाद भी सिद्धू शांत नहीं हुए हैं. हालांकि कांग्रेस ने कह दिया है कि राज्य में अगला विधानसभा चुनाव का नेतृत्व नवजोत सिंह सिद्धू और चरणजीत सिंह चन्नी करेंगे. सिद्धू अपने पास कोई प्रशासनिक पद न होने का रोना कई बार रो चुके हैं. 


पंजाब के लिए कांग्रेस की रणनीति क्या है?


कांग्रेस नेतृत्व अब सिद्धू की जगह चरणजीत सिंह चन्नी को ही तरजीह दे रहा है. उसकी नजर राज्य के 30 फीसद से अधिक दलित मतदाताओं पर है. चन्नी के जरिए वो उन्हें ही साध रहा है. क्ंयोंकि इसी वोट बैंक को ध्यान में रखते हुए शिरोमणि अकाली दल ने बसपा से समझौता किया है. और तो और बसपा पंजाब में जिन 20 सीटों पर चुनाव लड़ेगी उनमें से 18 कांग्रेस के पास हैं. सिद्धू की यह हालत देखकर आप को उनमें उम्मीद नजर आ रही है. इसलिए उसने पंजाब में अभी तक किसी को मुख्यमंत्री पद का चेहरा नहीं बनाया है. 


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