Sukhbir Singh Badal News: शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल को श्री अकाल तख्त साहिब की तरफ से गुरुवार को तनखैया घोषित किया गया. इसको लेकर बादल की पहली प्रतिक्रिया सामने आई है. उन्होंने अपने सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर पोस्ट कर लिखा, "वाहेगुरु जी का खालसा वाहेगुरु जी की फ़तेह, दास अपना सिर झुकाता है और मिरी पीरी के सबसे ऊंचे तीर्थ श्री अकाल तख्त साहिब द्वारा जारी आदेश को स्वीकार करता है. आदेश के मुताबिक मैं जल्द ही श्री अकाल तख्त साहिब के सामने पेश होकर खीमा का परीक्षण करूंगा."


बता दें कि तनखैया एक धार्मिक सजा है जो श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी रघबीर सिंह की तरफ से सुखबीर सिंह बादल को सुनाई गई है.


किसे तनखैया घोषित किया जाता है?
सिख धर्म के अनुसार, जिस व्यक्ति ने धर्म को नुकसान पहुंचाने का काम किया हो उसे तनखैया घोषित किया जाता है. सुखबीर सिंह बादल पर आरोप है कि उन्होंने 2007 से 2017 तक अकाली दल और बीजेपी की गठबंधन सरकार के दौरान सिख धर्म को नुकसान पहुंचाने वाले कुछ काम किए थे, जिसकी वजह से उन्हें तनखैया घोषित किया गया.


तनखैया की सजा मिलने पर अन्य सिख उस व्यक्ति से कोई संपर्क नहीं रखता, उनके यहां शादी जैसे कार्यक्रमों में भी कोई सिख आता-जाता नहीं है. तनखैया घोषित होने वाला शख्स सिख संगत के सामने उपस्थित होकर अपनी गलती की क्षमा मांग सकता है.


बता दें कि 2007 में डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम बठिंडा में एक कार्यक्रम के दौरान गुरु गोविंद सिंह की तरह पोशाक पहनकर श्रद्धालुओं के बीच पहुंचा था. इसको लेकर काफी विवाद खड़ा हुआ था. श्री अकाल तख्त साहिब की तरफ से राम रहीम का बहिष्कार करने का भी आह्रवान किया गया था. राम रहीम के खिलाफ पुलिस ने केस भी दर्ज किया था लेकिन बाद में अकाली दल की सरकार ने सजा देने की जगह राम रहीम के मामले को ही वापस ले लिया था. 


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