अकाली दल चीफ सुखबीर बादल नहीं लड़ सकेंगे उपचुनाव, जानें क्या है इसके पीछे की वजह?
Punjab Bypoll 2024: सुखबीर सिंह बादल के उपचुनाव लड़ने का रास्ता फिलहाल बंद नजर आ रहा है क्योंकि उनकी धार्मिक सजा पर फैसला दिवाली के बाद होना है.
Punjab Bypoll: अकाल तख्त साहिब (Akal Takht Sahib) ने शिरोमणि अकाली दल (SAD) के नेता सुखबीर सिंह बादल (Sukhbir Singh Badal) को उपचुनाव लड़ने से अप्रत्यक्ष तौर पर रोक दिया है. अकाल तख्त साहिब ने सुखबीर बादल को तनखैया घोषित कर रखा है. ऐसे में अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी रघबीर सिंह ने कहा कि जब तक कोई तनखैया की सजा कोई पूरी नहीं करता तब तक किसी राजनीतिक गतिविधि में हिस्सा नहीं ले सकता.
जत्थेदार श्री अकाल तख्त साहिब ने आज (23 अक्टूबर) मीडिया से बात करते हुए कहा कि जिस व्यक्ति को श्री अकाल तख्त साहिब से तनखैया घोषित किया जाता है वह तब तक किसी राजनीतिक या पाबंदी लगाई गतिविधि में हिस्सा नहीं ले सकता. पांच सिंह साहिबान की मीटिंग में ही उस तनखैया की धार्मिक सजा लगाई जा सकती है और वह जब तक सजा पूरी नहीं कर लेता वह तनखैया ही रहता है. अगली पांच सिंह साहिबान की मीटिंग दीपावली के बाद ही होगी.
दिवाली के बाद सुखबीर सिंह बादल पर फैसला
हालांकि जत्थेदार साहिब के द्वारा सीधे तौर पर सुखबीर सिंह बादल का नाम तो नहीं लिया गया लेकिन उन्होंने जो मर्यादा बताई है उसके अनुसार सुखबीर बादल उपचुनाव नहीं लड़ पाएंगे क्योंकि नॉमिनेशन को सिर्फ दो दिन बचे हैं. सुखबीर बादल को अकाल तख्त साहिब द्वारा तनखैया घोषित किया हुआ है और वह तब तक कोई चुनाव लड़ नहीं सकते जब तक वह धार्मिक सजा को पूरा नहीं कर लेते. सुखबीर बादल की धार्मिक सजा का ऐलान भी दिवाली के बाद ही होगा.
2019 में सुखबीर सिंह ने लड़ा था चुनाव
सुखबीर सिंह बादल 2019 में फिरोजपुर सीट से लोकसभा का चुनाव जीता था जबकि 2009 से 2019 के बीच जलालाबाद से विधायक थे. पंजाब में डेरा बाबा नानक, चब्बेवाल, गिद्दड़बाहा और बरनाला सीट पर उपचुनाव कराया जा रहा है. इन सीटों के प्रतिनिधि लोकसभा के लिए निर्वाचित हुए हैं जिस वजह से ये चारों सीट रिक्त हो गईं.
ये भी पढ़ें - पंजाब उपचुनाव के लिए BJP ने जारी की स्टार प्रचारकों की लिस्ट, सुनील जाखड़ सहित किन नेताओं का नाम?