पंजाब: रूस और यूक्रेन में बन रहे जंग के हालात के कारण भारत से एमबीबीएस की पढ़ाई करने यूक्रेन गए काफी विद्यार्थी वहां फंसे हुए हैं. इस वजह से विद्यार्थियों के माता-पिता चिंतित हैं. इस बीच पंजाब के मानसा के कस्बा बरेटा से यूक्रेन गए तीन विद्यार्थियों में से दो काफी मुश्किलों के बाद वापस भारत लौट आए हैं, जबकि एक छात्र अभी भी वहां से वापसी के लिए प्रयास कर रहे हैं. वापस आए नौजवानों के परिवार के सदस्यों में खुशी है और वो यूक्रेन में फंसे अन्य नौजवानों की सही-सलामत वापसी के लिए सरकार से गुहार लगा रहे हैं.


रूस और यूक्रेन के बीच तनाव से उपजी समस्या


बता दें कि मानसा के कस्बा बरेटा से तीन नौजवान नितिन शर्मा और मनजिंदर सिंह 2020 में और पीयूष गोयल 2018 में छह वर्षीय डॉक्टरी कोर्स (एमबीबीएस) की पढ़ाई करने युक्रेन गए थे. तीनों की पढ़ाई ठीक चल रही थी, लेकिन इस बीच रूस और यूक्रेन के आपसी संबंधों में आई खटास ने वहां पढ़ाई कर रहे नौजवानों और उनके परिवारजनों को चिंतित कर दिया है. 


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वतन वापसी को बेकरार हैं भारतीय 


यूक्रेन में पढ़ रहे सभी विद्यार्थी घर वापसी के लिए प्रयत्नशील हैं. तमाम मुश्किलों के बावजूद नितिन शर्मा और मनजिंदर सिंह वतन लौट चुके हैं जबकि पीयूष गोयल के माता-पिता अभी भी अपने बेटे की वापसी का इंतजार कर रहे हैं. 


घर लौटे नितिन शर्मा और मनिंदर सिंह ने बताया कि यूक्रेन में बड़ी संख्या में भारतीय नौजवान फंसे हुए हैं. ये सभी वतन वापसी की कोशिशों में लगे हुए हैं, लेकिन फ्लाइट्स की संख्या कम होने के कारण समस्याएं आ रही हैं. उन्होंने बताया कि हालात बिगड़ने से काफी फ्लाइट्स की सेवा बंद हो गई हैं. जंग जैसी बनी हालात से उपजी एक अन्य समस्या की ओर इशारा करते हुए उन्होंने बताया कि निजी एयरलाइंस द्वारा पहले 25 हज़ार में मिलने वाली टिकट के अब एक से डेढ़ लाख रुपये वसूले जा रहे हैं.


फंसे लोगों की घर वापसी की परिजन लगा रहे गुहार


नितिन और मनजिंदर के पिता राकेश कुमार और जुगराज सिंह ने बताया कि आज वहां के हालात काफी खराब हो चुके हैं और इसी कारण वहां से आने वालों को फ्लाइटें नहीं मिल रही हैं. उन्होंने कहा कि एक फ्लाइट में करीब 250 लोग ही आ सकते हैं. ऐसे में उन्होंने सरकार से यूक्रेन में फंसे भारतीयों की वापसी के लिए विशेष प्रबंध करने का आग्रह किया. 


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