Amrit Pal Singh: जिसके आगे झुक गई पंजाब पुलिस! एक इशारे पर तलवार-बंदूक लेकर सड़कों पर उतर आए थे हजारों समर्थक
'वारिस पंजाब दे' के समर्थकों ने गुरुवार को अमृतसर में जमकर हंगामा किया. थाने का घेराव किया गया. हजारों की संख्या में लोग बंदूक, तलवार और लाठियों से लैंस नजर आए. कई पुलिसकर्मी भी घायल हुए.
Chandigarh: पंजाब के अमृतसर में गुरुवार (23 फरवरी) को जमकर हंगामा हुआ. वारिस पंजाब दे संगठन के मुखिया अमृतपाल सिंह के समर्थकों ने अजनाला थाने पर हमला बोल दिया. अमृतपाल के करीबी लवप्रीत तूफान की गिरफ्तारी के विरोध में हजारों की संख्या में लोगों ने थाने का घेराव किया. अमृतसर में हजारों की संख्या में आक्रोशित लोगों ने बंदूक, तलवार और लाठी लेकर थाने की ओर मार्च किया. भीड़ को रोकने के लिए पुलिस ने बैरिकेड लगा रखा था, लेकिन प्रदर्शनकारी उसे तोड़कर अंदर घुस गए. इस घटना में कई पुलिसकर्मी गंभीर रूप से घायल बताए जा रहे हैं.
‘राजनीतिक मकसद से दर्ज की FIR’
हंगामे की सूचना मिलते ही अमृतपाल भी अजनाला थाने पहुंच गया. यहां उन्होंने एसएसपी सतिंदर सिंह के साथ बैठक की. जिसके बाद उन्होंने पुलिस को लवप्रीत तूफान को छोड़ने का अल्टीमेटम दिया. बता दें कि लवप्रीत तूफान को एक व्यक्ति को अगवा कर बुरी तरह से मारने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. पुलिस को अल्टीमेटम देते हुए अमृतपाल सिंह ने कहा, 'यह एफआईआर केवल राजनीतिक मकसद से दर्ज की गई है. अगर एक घंटे के भीतर केस रद्द नहीं किया तो आगे जो होगा उसके लिए प्रशासन जिम्मेदार होगा. इसलिए बल का यह प्रदर्शन जरूरी था।" समाचार एजेंसी एएनआई ने बताया कि इलाके में भारी पुलिस बल तैनात किया गया है और प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित करने के प्रयास किए जा रहे हैं.
कौन हैं अमृतपाल सिंह?
अमृतपाल सिंह अमृतसर जिले के जल्लूपुर खेड़ा गांव के रहने वाले हैं. वह 2012 में काम के सिलसिले में दुबई गया था और हाल ही में वहां से भारत लौटा था. अब वह खालिस्तानी समर्थक दीप सिद्धू के संगठन 'वारिस पंजाब दे' का मुखिया है. दीप सिद्धू की हाल ही में एक सड़क हादसे में मौत हो गई थी. किसान आंदोलन के दौरान लाल किले पर हुई हिंसा के लिए भी उन्हें जिम्मेदार ठहराया गया था. इंडिया टुडे की एक रिपोर्ट के मुताबिक खालिस्तान आंदोलन चलाने वाले जरनैल सिंह भिंडरावाले के समर्थक हैं. स्वयंभू खालिस्तानी समर्थक अमृतपाल सिंह एक अलग सिख राज्य की मांग करते हैं और इसके बारे में भड़काऊ बयान देते हैं.
केंद्र सरकार को दी थी चुनौती
इंडिया टुडे की एक रिपोर्ट के मुताबिक अमृतपाल सिंह ने हाल ही में अपने समर्थकों पर हुई छापेमारी को लेकर केंद्र सरकार को चुनौती देते हुए कहा था, 'मैं सरकार से कहना चाहता हूं कि अगर वे मुझे गिरफ्तार करना चाहते हैं तो मुझे जगह बताएं. सरकार कह रही है कि वे मुझे ढूंढ रहे हैं, दूसरी तरफ वे जानते हैं कि मैं कहां था, फिर वे झूठ क्यों बोल रहे हैं कि छापेमारी कर रहे हैं.
अमित शाह को धमकी दी गई है
हाल ही में उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को परोक्ष रूप से धमकी दी थी. 19 फरवरी को पंजाब के मोगा जिले के बुद्ध सिंह वाला गांव में, उन्होंने संकेत दिया कि अगर गृह मंत्री अमित शाह ने उनकी आवाज को चुप कराने की कोशिश की तो उनका हश्र इंदिरा गांधी के समान होगा. उन्होंने कहा था, "इंदिरा ने दबाने की कोशिश की, क्या हुआ? अब अमित शाह को उनकी इच्छा पूरी होती दिख रही है."