Rajasthan: अशोक गहलोत के बयान पर भड़की BJP, नेता प्रतिपक्ष ने पूछा- 'बिकाऊ विधायक अभी तक मंत्रिमंडल में क्यों?'
Rajasthan Politics: नेता प्रतिपक्ष ने कहा, '2 साल बाद भी विधायकों की लिस्ट जारी क्यों नहीं की गई? किन विधायकों को कितने करोड़ मिले और कितने खर्च हुए, इसका ब्यौरा CM लेकर बैठे हैं.'
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Rajendra Rathore on Ashok Gehlot: राजस्थान में चुनाव से पहले सियासी माहौल गर्म हो गया है. रविवार 7 मई को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) ने मानेसर की घटना को फिर जिंदा कर दिया. इसमें उन्होंने देश के गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) का नाम लेकर खुली चुनौती दी है. इससे अब यहां पर बीजेपी अशोक गहलोत के खिलाफ आक्रामक हो गई है. अब नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने बड़ा हमला बोला है और सीएम से कई सवाल किए हैं.
राजेंद्र राठौड़ ने ट्वीट जरिए सीएम गहलोत से पूछा है कि उन्होंने देश के गृहमंत्री को आरोपित करने की तोहमत उठाई है तो यह भी बता दें कि जब सरकार अशोक गहलोत की है, पुलिस पर नियंत्रण भी उन्हीं का है. गृहमंत्री भी उनके हैं. कथित बिकाऊ विधायकों की सार्वजनिक जानकारी भी उन्हें है, तो फिर देरी किस बात की?
'सीएम लेकर बैठे हैं ब्यौरा, तो केस दर्ज क्यों नहीं'
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि दो साल गुजर जाने के बाद भी विधायकों की लिस्ट जारी क्यों नहीं की गई? किन विधायकों को कितने करोड़ मिले और कितने खर्च हुए, इसका ब्यौरा लेकर बैठे हैं, तो फिर तथाकथित बिकाऊ विधायकों के खिलाफ केस क्यों नहीं करवाया? राजेंद्र राठौड़ के इस ट्वीट ने राजस्थान की राजनीति में आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू कर दिया है.
'मंत्रिमंडल में शामिल हैं बागी विधायक'
राजेंद्र राठौड़ सीएम गहलोत पर एक और हमला करते हुए का, 'तत्कालीन मुख्य सचेतक जोशी द्वारा फोन टैपिंग केस में एसीबी और एसओजी द्वारा दर्ज कराई गई FIR नंबर 47,48,49, 129 में एफआर भी आपके निर्देश पर लगी और अब आरोप भी आप लगा रहे हैं. जो विधायक आपकी नजरों में धोखेबाज थे, वह आज मंत्रिमंडल में विराजमान हैं. सरकारी धन पर लगाये जा रहे महंगाई राहत कैंपों में पहले रजिस्टर्ड लाभार्थी के बाद फिर रजिस्ट्रेशन के लिए मजबूरवश आई भीड़ के सामने इस प्रकार का प्रलाप कोई राजनीतिक लाभ नहीं देगा.'
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