Rajasthan News: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) द्वारा कुछ सालों पहले स्वच्छता अभियान की शुरुआत की गई थी. इसके बाद देश में कई परिवर्तन देखने को मिले. कुछ शहर तो क्लीन सिटी के नाम से भी पहचाने जाने लगे हैं, लेकिन ग्रामीण क्षेत्र में अब भी जागरूकता का अभाव है. इस वजह से अब राजस्थान सरकार ने गांवों में स्वच्छता जागरूकता को बढ़ाने के किए एक प्रयास शुरू किया है. इसके लिए उदयपुर संभाग के एक ऐसे शख्स को पूरे प्रदेश की जिम्मेदारी दी गई है, जिन्होंने उदयपुर के डूंगरपुर शहर को ठोस कचरा प्रबंधन और स्वच्छता में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अवॉर्ड दिलाया है. 


उदयपुर संभाग का डूंगरपुर जिला जनजातीय क्षेत्र है. यहां शहर और बड़े कस्बों को छोड़ दें तो बाकी ग्रामीण क्षेत्रों में जनजातीय लोग रहते हैं. ऐसे में कुछ साल पहले यहां बीजेपी का बोर्ड बनने के बाद यहां के सभापति बने केके गुप्ता ने स्थानीय लोगों के साथ प्लानिंग करके इस शहर को साफ-सुथरा बना दिया. स्वच्छता में यह शहर प्रदेश में पांच से ज्यादा बार नंबर एक पर आ चुका है. वहीं देश में भी 16वें स्थान पर आ चुका है. ऐसे में अब राजस्थान के ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता जागरूकता की जिम्मेदारी सरकार ने केके गुप्ता को दी है.

 

जारी हुआ यह आदेश

इसके लिए ग्रामीण विकास और पंचायती राज विभाग के शासन सचिव रवि जैन ने आदेश जारी किया है, जिसमें सभी कलेक्टरों को केके गुप्ता से संपर्क कर स्वच्छता के क्षेत्र में काम करने के लिए कहा गया है. वहीं केके गुप्ता ने कहा कि स्वच्छ भारत मिशन को प्रदेश के गांव-गांव, ढाणी-ढाणी तक पहुंचाना है. इसके बाद ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का सपना पूरा होगा. मैं सभी को विश्वास दिलाता हूं कि आने वाले समय में सभी राज्यों की तुलना में राजस्थान स्वच्छ भारत मिशन में अग्रिम रहकर इतिहास बनाएगा. उन्होंने यह भी कहा कि यह जिम्मेदारी मुझे मिली है, तो स्वच्छ भारत मिशन के तहत आने वाले समय में कई गांव स्वच्छता के लिए मॉडल बनेंगे जिन्हें देखने देश ही नहीं विदेशों से भी लोग आएंगे.