Rajasthan News: सर्दी के साथ मच्छरों का बढ़ा प्रकोप, प्रशासन पर लगे ये गंभीर आरोप
Mosquito Outbreak in Bharatpur: मच्छरों के बढ़ते प्रकोप और मच्छर जनित बीमारी की शिकायत के बावजूद, प्रशासन और नगर निगम कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है. इससे बचने के लिए लोग खुद ही घरेलू उपाय कर रहे हैं.
Bharatpur News: राजस्थान के भरतपुर जिले में सर्दी बढ़ने के साथ-साथ मच्छरों से होने वाली बीमारी का प्रकोप बढ़ता जा रहा है. शहर में मच्छरों के आतंक से लोग बहुत परेशान हैं. मच्छरों के आतंक से बचने के लिए लोगों को कॉइल, टिकिया, अगरबत्ती और लिक्विड आदि खरीदने के लिए अपनी आमदानी का अच्छा खासा पैसा खर्च करना पड़ता है.
मच्छरों के आतंक से कई बीमारियां फैलने लगी हैं. हालात ये हैं कि पिछले कुछ दिनों में डेंगू मरीजों की संख्या तेजी से बढ़ी है. जिले के आरबीएम सरकारी अस्पताल में सिर्फ नवंबर महीने में 67 डेंगू के मरीज मिले हैं. वहीं अगर प्राइवेट लैब और अस्पताल के भी डेंगू मरीजों को देखा जाए तो ये का आंकड़ा सैकड़ों की संख्या भरतपुर में मरीज मिलेंगेय. अस्पताल में खांसी, जुकाम, बुखार के मरीजो की संख्या में तेजी से इजाफा हुआ है. जिला अस्पताल में आउटडोर मरीजों की संख्या में काफी इजाफा हुआ है. इलाज के लिए अस्पताल के रजिस्ट्रेशन काउंटर पर मरीजों की लंबी-लंबी कतारें देखने को मिल रही हैं.
जलभराव से मच्छरों का आतंक बढ़ा
भरतपुर के सर्कुलर रोड के बाहर बसी कॉलोनियों में मच्छरों का आतंक ज्यादा है, क्योंकि सर्कुलर रोड के बाहर लगभग 40 कॉलोनीयों की कृषि भूमि पर बसावट कुछ वर्षों में हुई है, उचित सीवेज की व्यवस्था नहीं होने से यहां जलभराव की स्थिति रहती है. जलभराव के कारण मच्छरों का आतंक ज्यादा रहता है. इन कॉलोनियों में रहने वाले लोग मच्छरों के काटने से और उससे होने वाली बीमारियों से परेशान रहते हैं. इन कॉलोनियों में रहने वाले लोगों का कहना है मच्छरों के काटने से काफी परेशानी होती है, रात-दिन मच्छर चैन से कोई काम नहीं करने देते हैं. इसकी शिकायत नगर निगम और प्रशासनिक अधिकारियों से कई बार की जा चुकी है, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही है.
कीटनाशक दवाओं का नहीं हो रहा असर
भरतपुर में मच्छरों का आतंक ऐसा है की मच्छरों पर कॉइल, अगरबत्ती, टिकिया और लिक्विड का कोई असर नहीं होता है. कॉलोनी के लोगों का कहना है कि ऐसा लगता है मच्छर इन सभी चीजों के अभ्यस्त हो गए हैं. यही वजह है कि सभी तरह के उपाय करने के बाद भी मच्छरों का आतंक पूरी तरह से कम होता दिखाई नहीं पड़ रहा है. कई तरह के उपाय करने के बाद भी घर के कोने में मच्छरों की हलचल दिखाई देती है.
नगर निगम नहीं दे रहा कोई ध्यान
भरतपुर में मच्छरों के बढ़ते प्रकोप और इससे होने वाली बीमारियों की शिकायत के बावजूद स्थानीय नगर निगम और प्रशासन नीरस बना हुआ है, इसको रोकने के लिए संबंधित अधिकारी कोई कदम नहीं उठा रहे हैं. मच्छरों को रोकने के लिए नगर निगम द्वारा पहले शहर में बड़ी मशीन द्वारा फॉगिंग कराई जाती थी, लेकिन इस बार कहीं भी फॉगिंग होती दिखाई नहीं पड़ी है. भरतपुर में रहने वाले लोग अपनी आमदानी का अच्छा खासा पैसा कर कॉइल, टिकिया, अगरबत्ती या लिक्विड खरीद कर मच्छरों से बचाव का प्रयास कर रहे हैं. हालांकि ये उपाय मच्छरों को रोकने के लिए नाकाफी है.
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