Kota News: कोटा संभाग के बूंदी और तालेड़ा तहसील क्षेत्र में बिजली कटौती और जले हुए ट्रांसफार्मर को बदलने की मांग को लेकर बीजेपी नेता रूपेश शर्मा की अगुवाई में धरना-प्रदर्शन आयोजित किया गया. इसमें भारी बवाल हो गया. अधीक्षण अभियंता कार्यालय में तैनात पुलिस अधिकारियों पर चूड़ियों के साथ पत्थर फेकना प्रदर्शनकारियों को भारी पड़ गया.इस दौरान हुए लाठीचार्ज में रूपेश शर्मा सहित कई कार्यकर्ता गंभीर रूप से घायल हो गए.पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए प्रदर्शनकारियों को दौड़ा दौड़ा कर पीटा.घायलों को इलाज के लिए चिकित्सालय में भर्ती कराया गया है.
बिजली कटौती से 11 गांव हैं परेशान
बूंदी, तालेड़ा तहसील के 11 गांवों में लगातार हो रही बिजली कटौती और जले हुए ट्रांसफार्मर को विद्युत विभाग द्वारा नहीं बदलने से क्षेत्र के किसानों में भारी आक्रोश था. इसे लेकर ही रूपेश शर्मा की अगुवाई में सोमवार को चित्तौड़ रोड पर अधीक्षण अभियंता कार्यालय पर धरना-प्रदर्शन की चेतावनी दी हुई थी.प्रदर्शनकारियों ने मुख्य सड़क पर मंच बनाकर सभा की. इसमें वक्ताओं ने सरकार को खूब कोसा.उसके बाद सभी नारेबाजी करते हुए अधीक्षण अभियंता कार्यालय के मुख्य गेट पर पहुंचे और वहां भी जमकर नारेबाजी की.वहां बिजली विभाग के कोटा से आए चीफ इंजीनियर गजेंद्र बैरवा, एडीएम सोहन लाल और पुलिस अधिकारियों की उपस्थिति में रूपेश शर्मा ने ग्रामीणों की मांगे रखीं. कुछ देर चर्चा के बाद चीफ इंजीनियर गजेंद्र बैरवा ने प्रदर्शनकारियों की सभी मांगें मान लीं. लेकिन रूपेश शर्मा लिखित में देने की बात पर अड़ गए.इसी बीच भीड़ में से लोगों ने पुलिस पर चूड़ियां और पत्थर फेंक दिया. भीड़ कार्यालय में घुसने का प्रयास करने लगी.यह देखकर वहां मौजूद जाप्ते ने भीड़ को खदेड़ दिया.पुलिस की लाठीचार्ज में कई प्रदर्शन कारियों के चोट आई. रूपेश शर्मा सहित कई बीजेपी कार्यकर्ताओं को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया.
कितने प्रदर्शनकारियों पर दर्ज हुआ है केस
बिजली विभाग के अधीक्षण अभियंता कार्यालय के बाहर धरना-प्रदर्शन करने के मामले में सदर थाना पुलिस ने अधीक्षण अभियंता की शिकायत पर रूपेश शर्मा सहित 150 प्रदर्शनकारियों के विरुद्ध मामला दर्ज किया है.सदर थानाधिकारी अरविंद भारद्वाज ने बताया की इन लोगों पर सरकारी कार्यालय में हंगामा और नुकसान करने का आरोप लगाया गया है.
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