Rajasthan News: राजस्थान के बूंदी में ममता को शर्मसार करने वाला एक मामला सामने आया है. जिसमें एक नाबालिग द्वारा एक बच्ची को जन्म देने के बाद उसे झाड़ियों में फेंक दिया गया. दरअसल, शहर में नाबालिग बालिका ने एक बच्ची को जन्म दिया, लेकिन बदनामी के डर से उसने अपनी नवजात बच्ची को कचरे के ढ़ेर में फेंक दिया. चितौड़गढ़ रोड स्थित न्यू इंग्लिश स्कूल के पास खाली भूखण्ड में नवजात बच्ची के पड़े होने के सबंध में आसपास के लोगों द्वारा सदर थाना पुलिस और बाल कल्याण समिति को सूचना दी. सूचना के बाद मौके पर पहुंची सदर पुलिस और बाल कल्याण समिति ने कचरे के ढ़ेर में मिली नवजात बच्ची को उपचार के लिए बूंदी अस्पताल की एमसीएच यूनिट में भर्ती करवाया. जहां नवजात बच्ची की हालत गंभीर होने से डॉक्टरों द्वारा उसे कोटा जेकेलोन हॉस्पिटल के लिए रेफर कर दिया.

चचेरे भाई ने किया था रेप
कचरे के ढेर में नवजात बच्ची मिलने से हरकत में आई सदर थाना पुलिस द्वारा आसपास के लोगों से पूछताछ की. इस दौरान कचरे के ढ़ेर में मिली नवजात बच्ची को एक नाबालिग बालिका द्वारा जन्म देने की बात सामने आई. पुलिस और बाल कल्याण समिति द्वारा नवजात बच्ची को जन्म देने वाली नाबालिग बालिका को भी उपचार के लिए एमसीएच यूनिट में भर्ती करवा दिया गया है. वहीं घटना को लेकर पुलिस के विश्वस्त सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार नवजात बच्ची को जन्म देने वाली नाबालिग बालिका से उसके रिश्ते में चचेरे भाई लगने वाले युवक ने रेप किया था. जिसके बाद उसके पेट में गर्भ ठहर जाने से वह लोक लाज और बदनामी के डर से अपने परिजनों को पेट में पल रहे बच्चे के विषय में नहीं बता पाए. ऐसे में शनिवार अल सुबह चार बजे उसे हुई प्रसव पीड़ा के चलते नाबालिग बालिका ने बाथरुम में नवजात बच्ची को जन्म देकर बदनामी के डर से उसे पॉलीथिन में लपेट कर कचरे के ढ़ेर में फेंक दिया.

आरोपी की तलाश जारी
सदर पुलिस द्वारा नाबालिग बालिका से रेप कर उसे गर्भवती बनाने वाले आरोपी की तलाश शुरू कर दी है. इस मामले में बाल कल्याण समिति अध्यक्ष सीमा पोद्दार ने सूचना मिलते ही तत्काल सक्रिय होकर पहले सूचना देने वाले राहगीर से मानव धर्म निभाने की बात कहकर नवजात को कपड़े में रख हॉस्पिटल पहुंचाने की रिक्वेस्ट की. जब युवक सीमा पोद्दार की बात से नवजात बालिका को लेकर हॉस्पिटल पहुंचा तो पोद्दार भी उसे वहीं मिली. बाल कल्याण समिति की अध्यक्ष ने इस दौरान डॉ. गोविंद गुप्ता को जानकारी देकर नवजात का उपचार करने की बात कही. डॉ गुप्ता ने डॉ. पंकज शर्मा और अन्य रेजिडेंट चिकित्सकों की टीम के साथ उपचार शुरू किया. करीब 2 घंटे लगातार प्रयास के बाद नवजात को पहले से बेहतर हालात में होने के बाद उसे उचित उपचार के लिए कोटा जेकेलोन हॉस्पिटल के लिए रेफर कर दिया. जहां नवजात बालिका का उपचार किया जा रहा है. वहीं इस मामले में थानाधिकारी अरविंद भारद्वाज का कहना है कि मामले की गहनता से जांच की जा रही है. प्रथमदृष्टया नाबालिग बालिका से प्रसव से जुड़ा प्रतीत हो रहा है. हमने उचित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है. आगे अनुसंधान जारी है.


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