Bhopal News: मध्य प्रदेश की  शिवराज सिंह चौहान (CM Shivraj Singh Chouhan) की सरकार ने पटवारी भर्ती परीक्षा में गड़बड़ी की जांच हाई कोर्ट के रिटायर्ड जज से कराने का फैसला किया है. मुख्यमंत्री ने बुधवार (19 जुलाई) को सिवनी में कहा कि पटवारी परीक्षा में संदेह जब तक समाप्त नहीं होगा, तब तक इन परिणामों के आधार पर नियुक्तियां नहीं होगी.गड़बड़ी करने वाले को नहीं छोड़ा जाएगा. यह मामला सामने आने के बाद से ही विपक्षी कांग्रेस इसे लेकर सरकार पर हमलावर है. वहीं ऐसे समय में यह मामला सरकार के गले की फांस बन गया है, जब चुनाव में कुछ ही महीने का समय बाकी है.


क्या कहा है मुख्यमंत्री ने


मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बुधवार देर शाम ट्वीट करते हुए कहा, "कर्मचारी चयन मंडल के माध्यम से आयोजित ग्रुप-2 , सब ग्रुप-4 और पटवारी भर्ती परीक्षा की जांच के लिए उच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधिपति राजेंद्र कुमार वर्मा को नियुक्त किया गया है. जांच में उक्त परीक्षा से संबंधित शिकायतों और जांच के दौरान उद्भूत अन्य प्रासंगिक बिंदुओं पर भी जांच की जाएगी.जांच के निष्कर्षों के आधार पर यथोचित अनुशंसाएं 31 अगस्त 2023 तक राज्य शासन को प्रस्तुत होंगी."






पटवारी भर्ती पर कांग्रेस हमलावर


यहां बताते चलें कि गड़बड़ियों की शिकायत के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पटवारियों की जॉइनिंग पर रोक लगा दी थी. इस मामले में विपक्षी कांग्रेस ने तीखे तेवर अपना रखे हैं.प्रदेश के तमाम शहरों में लगातार कांग्रेस कार्यकर्ताओं द्वारा प्रदर्शन किए जा रहा है.इसके अलावा कुछ अभ्यर्थियों ने मध्य प्रदेश हाईकोर्ट की शरण भी ली है.कहा जा रहा है कि यह मामला शिवराज सरकार के लिए गले की फांस बनता जा रहा है.हर रोज पटवारी भर्ती में गड़बड़ियों से जुड़े नए खुलासे सामने आ रहे हैं. अब मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने निष्पक्ष जांच के लिए मध्य प्रदेश कोर्ट के एक रिटायर्ड जस्टिस को जिम्मेदारी सौंपी है.


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