Rajasthan News: कांग्रेस (Congress) ने राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) की विश्वसनीयता पर सवाल उठाये हैं. पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट (Sachin Pilot) ने कहा कि आरपीएससी के पुनर्गठन करने की मांग की है.


उन्होंने कहा कि सितम्बर, 2023 में ईडी ने आरपीएससी सदस्य बाबूलाल कटारा को गिरफ्तार किया था. कटारा की गिरफ्तारी सेकंड ग्रेड टीचर भर्ती परीक्षा पेपर लीक मामले में हुई थी. अब एसओजी ने सब इंस्पेक्टर भर्ती परीक्षा पेपर लीक प्रकरण में आरपीएससी के पूर्व सदस्य रामूराम राईका को गिरफ्तार किया है.


सचिन पायलट ने कहा कि पेपर लीक मामले में ईडी और एसओजी की कार्रवाई से आरपीएससी जैसी प्रतिष्ठित संवैधानिक संस्था की विश्वसनीयता पर सवालिया निशान लग गया है. उन्होंने कहा कि पहले भी आरपीएससी की कार्यप्रणाली और चयन प्रक्रिया पर ऐतराज जताया जाता रहा है. उन्होंने कहा कि रीट, सेकंड ग्रेड टीचर, सब इंस्पेक्टर, जूनियर इंजीनियर, वन रक्षक सहित दर्जनों परीक्षाओं के पेपर लीक होने से युवाओं को ठेस पहुंची है.


RPSC की विश्वसनीयता सवालों के घेरे में


प्रदेश के लाखों बेरोजगार युवाओं का सपना धूमिल हुआ है. बच्चों के माता-पिता, परिवारजनों में निराशा व्याप्त हो गई है. युवाओं को भविष्य अंधकारमय लगने लगा है. सचिन पायलट ने कहा कि प्रदेश के लाखों युवा विपरीत परिस्थितियों में पढ़-लिखकर परीक्षाओं की तैयारियां कर रहे हैं. माता-पिता दिन-रात मेहनत कर बच्चों को शिक्षा के संसाधन उपलब्ध करा रहे हैं. आरपीएससी में आए दिन नये खुलासों से संशय की स्थिति बन रही है कि पेपर लीक होने पर मेहनत नाकाम ना हो जाये.


सचिन पायलट पुनर्गठन करने की मांग की


पायलट ने कहा कि बजट सत्र में सरकार ने प्रदेश में चार लाख नौकरी देने की घोषणा की है. एक लाख नौकरी मार्च, 2025 तक दी जायेगी. ऐसे में नौकरी के लिए परीक्षा की चयन प्रणाली में पारदर्शिता कायम रखना सरकार का दायित्व है. अभिभावकों में परीक्षा लेने वाली संस्था के प्रति विश्वास बहाली का काम सरकार का है. 


ये भी पढ़ें-


यात्रीगण कृपया ध्यान दें! कोटा से गुजरने वाली ये ट्रेनें रहेंगी कैंसल, यात्रा पर निकलने पहले देखें लिस्ट